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पहचान परेड को भाजपा ने बताया शर्मनाक, कहा- बाला साहेब के पौत्र ने स्वीकारा सोनिया का नेतृत्व
डिजिटल डेस्क, मुंबई। महानगर के पश्चिम उपनगर स्थित होटल हयात में शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस के शक्ति प्रदर्शन को शर्मनाक बताते हुए भाजपा ने कहा है कि विधानसभा में बहुमत हम ही साबित करेंगे। भाजपा के वरिष्ठ नेता आशिष शेलार ने कहा कि आज उस वक्त महाराष्ट्र सहित राष्ट्र के लोगों का सिर शर्म से झुक गया होगा जब लोगों ने पूज्यनीय बाला साहेब के पौत्र आदित्य ठाकरे को सोनिया गांधी का नेतृत्व स्वीकार करने की शपथ लेते देखा। शेलार ने कहा कि होटल में पहचान परेड़ कर विधायकों का अपमान किया गया है। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र ने आज एक घिनौनी तस्वीर देखी। पहचान परेड तो आरोपियों का किया जाता है। विधायकों की पहचान परेड़ उनके साथ उन्हें चुनने वाली जनता का भी अपमान है। पहचान परेड से फ्लोर टेस्ट नहीं होता। 162 छोड़िए 145 विधायक भी मौजूद नहीं थे।
किसके नेतृत्व में बनेगी सरकारः शेलार
दूसरी ओर भाजपा के वरिष्ठ नेता विधायक आशीष शेलार ने कहा कि शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस ने सरकार बनाने के लिए दावा पेश नहीं किया है बल्कि प्रदेश की जनता को गुमराह करने की कोशिश है। शेलार ने कहा कि सरकार बनाने के लिए किसी दल अथवा गठबंधन की ओर से दावा पेश किया जाता है तो उस प्रस्ताव में सरकार किसके नेतृत्व में बनाई जाने वाली है, इसका उल्लेख करना जरूरी होता है। लेकिन तीनों दलों के पत्र में इस बात का उल्लेख नहीं है कि किसके नेतृत्व में सरकार बनाएंगे। तीनों अभी तक यही नहीं तय कर पाएं हैं कि उनका मुख्यमंत्री कौन होगा। शेलार ने कहा कि कांग्रेस ने अभी तक विधायक दल का नेता नहीं चुना है। राकांपा के विधायक दल के नेता संवैधानिक रूप से उपमुख्यमंत्री अजित पवार हैं। अजित का व्हीप ही लागू होगा। लेकिन तीनों दलों की ओर से दिए गए पत्र में अजित के हस्ताक्षर नहीं हैं। यह तीनों दलों की पागलपंथी है।
162 विधायकों का समर्थन पत्र राज्यपाल के सचिव को सौंप किया सरकार बनाने का दावा
शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस ने मिलकर साझा बहुमत होने का दावा करते हुए सोमवार को राजभवन जाकर राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के कार्यालय को 162 विधायकों का समर्थन पत्र सौंप दिया है। तीनों दलों को डर है कि भाजपा के पास बहुमत साबित नहीं होने की स्थिति में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस विधानसभा भंग करने की सिफारिश कर सकते हैं। इसलिए एहतियात के तौर पर तीनों दलों ने बहुमत होने के दावे वाला पत्र राज्यपाल को दिया है। राकांपा के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटील ने कहा कि हमने कहा है कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के पास बहुमत नहीं है इसलिए विधानसभा में वे विश्वास मत जीत नहीं पाएंगे। मुख्यमंत्री के बहुमत साबित करने में असमर्थ होने के बाद शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, स्वाभिमानी शेतकरी पक्ष, सीपीएम और सात निर्दलीय विधायकों के समर्थन से सरकार बन सकती है। पाटील ने कहा कि राज्यपाल को तीनों दलों की साझा सरकार बनाने के लिए हमें तत्काल बुलाना चाहिए। हम राज्यपाल के सामने 162 विधायकों की परेड भी कराने के लिए तैयार हैं। पाटील ने कहा कि विधानसभा में विधायकों को खड़ा कर गिनती की गई तो मुख्यमंत्री बहुमत साबित नहीं कर पाएंगे। बहुमत नहीं जुटा पाने की स्थिति में मुख्यमंत्री विधानसभा भंग कर सकते हैं। इसलिए हमने पहले ही सरकार बनाने के लिए आमंत्रित करने को लेकर राज्यपाल को पत्र दिया है। शिवसेना विधायक दल नेता एकनाथ शिंदे ने कहा कि भाजपा की सरकार अल्पमत में है। इसलिए मुख्यमंत्री को तत्काल इस्तीफा देना चाहिए। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष बालासाहब थोरात ने कहा-मुख्यमंत्री फडणवीस के पास बहुमत नहीं है। फडणवीस को इस्तीफा दे देना चाहिए। हम लोग राज्यपाल के सामने विधायकों की परेड कराने के लिए तैयार हैं।
मरते दम तक पवार के साथ: मुंडे
इस दौरान पत्रकारों से बातचीत में राकांपा नेता व विधान परिषद में विपक्ष के नेता धनंजय मुंडे ने कहा कि मैं मरते दम तक शरद पवार का साथ नहीं छोडूंगा। उन्होंने कहा कि उस दिन मैं दोपहर तक सो रहा था इस लिए मुझे लेकर भ्रम कि स्थिति पैदा हुई।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण ने कहा कि आने वाला दिन महागठबंधन का होगा। महाराष्ट्र में भाजपा को दूर रखने के लिए हम सभी एकसाथ आए हैं। चव्हाण ने कहा कि हम कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के प्रति आभार प्रकट करते हैं कि उन्होंने राज्य में राकांपा और शिवसेना के साथ मिलकर सरकार बनाने के लिए सहमति दी है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष बालासाहब थोरात ने कहा कि पूरे विश्व ने देख लिया है कि महागठबंधन के पास 162 विधायक हैं। विधायकों के संख्या बल को देखकर मुख्यमंत्री को अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए। इसके बाद राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को सम्मान से सरकार बनाने के लिए महागठबंधन को बुलाना चाहिए।
शिवसेना पक्ष प्रमुख उद्धव ने कहा कि मैं यह नहीं कहूंगा कि मैं दोबारा आऊंगा। मैं कहना हूं कि हम आ गए हैं। हमारा रास्ता साफ कर दीजिए। अगर हमारे रास्ते के बीच में कोई आया तो उसको पार करने में हम समर्थ हैं। उद्धव ने कहा कि भाजपा 25-30 साल हमारे साथ रहकर भी हमें नहीं समझ सकी तो अब हम अपनी ताकत दिखाएंगे। हम केवल पांच साल के लिए सरकार बनाने के लिए साथ नहीं आए हैं। हम 25 से 30 साल तक साथ में रहने के लिए एकजुट हुए हैं। उद्धव ने कहा कि सत्ता के लिए कुछ भी करने की ताकत वाली शक्ति को छत्रपति शिवाजी महाराज की धरती महाराष्ट्र में गाड देंगे।
इस मौके पर विधायकों को संबोधित करते हुए राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने कहा कि व्हीप के पालन को लेकर राकांपा विधायकों में जानबुझकर डर पैदा करने की कोशिश की जा रही है। लेकिन मैं साफ करना चाहता हूं कि राकांपा ने विधायक दल नेता पद से अजित पवार को हटा दिया है। इसलिए अब अजित पवार के पास व्हीप अथवा आदेश जारी करने का अधिकार नहीं है। राकांपा विधायक दल नेता पद की जिम्मेदारी संभाल रहे जयंत पाटील का व्हीप ही सही माना जाएगा। मैंने संसद के संसदीय विभाग और कानून के विशेषज्ञों की राय लिखित रूप में ली है। इसलिए मैं जिम्मेदारी से कहना चाहता हूं कि राकांपा के किसी विधायक की सदस्यता नहीं जाएगी। इसकी जिम्मेदारी मैं व्यक्तिगत रुप से लेने के लिए तैयार हूं। पवार ने कहा कि अवैध रास्ते से सत्ता पर काबिज होने वाले लोगों को सत्ता से दूर करेंगे। पवार ने कहा कि बहुमत नहीं होने के बावजूद प्रदेश में भाजपा ने सरकार बनाई है। भाजपा ने कर्नाटक, गोवा, मणिपुर में बहुमत नहीं होने के बावजूद सरकार बनाई है। भाजपा ने दिखाया कि सरकार बनाने के लिए सत्ता का गलत इस्तेमाल कैसे किया जाता है। लेकिन भाजपा को समझ लेना चाहिए कि यह गोवा नहीं बल्कि महाराष्ट्र है। महाराष्ट्र में सबक सिखाने की ताकत है।
महा विकास आघाडी ने किया शक्ति प्रदर्शन
उधर फडणवीस सरकार गिराने में जुटे तीनों दल शिवसेना-राकांपा व कांग्रेस सोमवार को एक साथ आकर बहुमत का आकड़ा पेश किया। शाम 7 बजे शिवसेना व कांग्रेस विधायकों को अलग-अलग होटलों से अंधेरी पूर्व के हयात होटल लाया गया। यहां तीनों पार्टियों सहित अन्य सहयोगी दलों व निर्दलियों विधायकों को मीडिया के सामने पेश किया गया। इस दौरान इन सभी विधायकों को शपथ दिलाई गई कि किसी लालच में नहीं पड़ेंगे और एकजुट रहेंगे। दावा किया गया कि सभागार में 162 से अधिक विधायक मौजूद थे। शाम 5 बजे शिवसेना नेता संजय राऊत ने ट्विट कर कहा कि हम एक जुट हैं। पहली बार हमारे 162 विधायकों को ग्रैंड हयात होटल में शाम 7 बजे देखे। इसके बाद राकांपा अध्यक्ष शरद पवार, शिवसेना पक्ष प्रमुख उद्धव ठाकरे व काग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खडगे, अशोक चव्हाण, बाला साहेब, थोरात हयात होटल पहुंचे। इसके बाद शिवसेना-राकांपा व कांग्रेस के 162 विधायकों को एक साथ मीडिया के सामने पेश किया गया। होटल के सभागार में तीनों पार्टीयों के विधायकों को बैठाया गया।
शेलार ने कहा कि आज महाराष्ट्र सहित देश के लोगों की गर्दन शर्म से झुक गई होगी जब लोगों ने देखा कि पूज्यनीय बाला साहेब ठाकरे के पौत्र आदित्य ठाकरे सोनिया गांधी का नेतृत्व स्वीकार करने के लिए शपथ ले रहे। उन्होंने कहा कि शिवसेना सत्ता के लिए इतनी शर्मनाक स्थिति में पहुंच गई है। भाजपा नेता ने कहा कि पहचान परेड से केवल आत्मविश्वास बढ़ाने की कोशिश की गई है। क्योंकि इनका आत्मविश्वास खत्म हो चुका है। उन्होंने कहा कि फोटो ग्राफर तुम्हारा, फोटो तुम्हारा पर इस रेस का फोटो फिनिश भाजपा व फडणवीस-अजित पवार करेंगे। शेलार ने कहा कि सत्ता आती जाती रहती है। लेकिन आज लोगों ने देखा कि शिवसेना का हिंदुत्व कितना अलग है। उन्होंने दावा किया कि विधानसभा में बहुमत साबित करे पांच साल सरकार का कार्यकाल पूरा करेंगे।
Created On :   25 Nov 2019 9:29 PM IST