मेडिकल स्टोर्स के खिलाफ कार्रवाई पर रोक के लिए मंत्री के कार्यालय से मांगी जाती है रिश्वत

Bribe is sought from ministers office to stop action against medical stores
मेडिकल स्टोर्स के खिलाफ कार्रवाई पर रोक के लिए मंत्री के कार्यालय से मांगी जाती है रिश्वत
सीएम को पत्र मेडिकल स्टोर्स के खिलाफ कार्रवाई पर रोक के लिए मंत्री के कार्यालय से मांगी जाती है रिश्वत

-    महाराष्ट्र स्टेट केमिस्ट एंड ड्रगिस्ट एसोसिएशन ने सीएम को लिखा पत्र
-    एफडीए मंत्री के स्टॉफ पर लगाए गंभीर आरोप

डिजिटल डेस्क, मुंबई। महाराष्ट्र स्टेट केमिस्ट एंड ड्रगिस्ट एसोसिएशन ने राज्य के अन्न व औषध प्रशासन (एफडीए) मंत्री संजय राठोड़ के कार्यालय पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए हैं। संगठन ने इसको लेकर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को पत्र लिखा है। पत्र में कहा गया है कि छोटी-छोटी बातों को लेकर मेडिकल स्टोर के लाइसेंस सस्पेंड किए जा रहे हैं। इस पर स्थगन के लिए मंत्री कार्यालय के अधिकारी रिश्वत मांगते हैं। एसोसिएशन ने इस मामले में कार्रवाई न होने पर मेडिकल स्टोर बंद कर आंदोलन चेतावनी दी है। हालांकि मंत्री राठोड़ ने आरोपों को बेबुनियाद बताया है। 

एसोसिएशन ने सीएम शिंदे को लिखे पत्र में कहा है कि एफडीए मंत्री और उनका कार्यालय एक भ्रष्ट कार्यालय है। पूरे महाराष्ट्र के दवा विक्रेता मंत्री के कार्यालय के भ्रष्टाचार के कारण पीड़ित और तनावग्रस्त हैं। संगठन का कहना है कि दवा दुकानदार नियम-कानून का पालन करते हैं। अनजाने में हुई छोटी-बड़ी गलतियों के लिए दवा बेचने के लाइसेंस को अस्थायी रूप से निलंबित या स्थायी रूप से रद्द करने की कार्रवाई एफडीए कर रहा है। पत्र में यह शिकायत भी की गई है कि दवा विक्रेताओं से मंत्री के पीएस, ओएसडी मोटी रकम की मांग कर रहे हैं। इस संबंध में मुख्यमंत्री, उप-मुख्यमंत्री और एफडीए मंत्री से मुलाकात कर शिकायतें करने के बावजूद भ्रष्टाचार कम होने की बजाय बढ़ा है। इसलिए, यदि राज्य सरकार ने इस शिकायत को गंभीरता से नहीं लिया, तो इसके खिलाफ आंदोलन किया जाएगा। 

मुकुंद दुबे,उपाध्यक्ष महाराष्ट्र स्टेट केमिस्ट्स एंड ड्रगिस्ट्स एसोसिएशन के मुताबिक छोटी-छोटी बातों पर मेडिकल स्टोर के लाइसेंस एफडीए अधिकारी निलंबित कर रहे हैं। संभवतः मंत्रालय से अधिकारियों को टार्गेट मिला होगा। इसी कारण लाइसेंस इतने बड़े पैमाने पर रद्द किए जा रहें है। लाइसेंस निलंबित होने पर इसके खिलाफ एफडीए मंत्री के यहां सुनवाई होती है। सुनवाई पूरी होने में समय लगता है। इसलिए लाइसेंस निलंबन पर स्थगन (स्टे) आदेश दे दिया जाता है। पर, एफडीए मंत्री के यहां अधिकारी पैसे मांगते हैं। लाइसेंस निलंबित होने पर मेडिकल स्टोर बंद रखना पड़ता है। इससे दवा विक्रेताओं को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है। इस तरह की कार्रवाई से दवा विक्रेताओं की साख भी खराब होती है।' 

खाद्य व औषध प्रशासन मंत्री संजय राठोड़ के मुताबिक मेरे या मेरे विभाग के अधिकारियों पर लगाए गए आरोप झूठे हैं। मेरे विभाग के अधिकारियों ने कुछ लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की थी। इस वजह से वे नाराज हो सकते हैं। मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी विवेक कांबले सैफी अस्पताल में भर्ती थे। उनको डॉक्टरों ने आयरन बढ़ाने के लिए इंजेक्शन दिया था। लेकिन, उसकी वजह से उनकी मौत हो गई थी। इसके बाद कांबले की पत्नी ने शिकायत की थी। विभाग ने दवा कंपनी पर प्रतिबंध लगाया था और उसका लाइसेंस रद्द कर दिया था।'                                                

मंत्री राठोड़ के कार्यालय की एसीबी करे जांच

प्रदेश राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के मुख्य प्रवक्ता महेश तपासे ने एफडीए मंत्री संजय राठोड़ के कार्यालय पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों को गंभीर बताते हुए भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) के माध्यम से जांच कराने की मांग की है। उन्होंने कहा कि मेडिकल स्टोर एसोसिएशन ने मंत्री के कार्यालय पर गंभीर आरोप लगाए हैं। मेडिकल स्टोर संचालक भ्रष्टाचार से त्रस्त हैं। मामले की जांच तुरंत एसीबी को सौंपी जानी चाहिए। 
 

Created On :   19 April 2023 9:15 PM IST

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