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हाईकोर्ट की नसीहत - पुणे में युवती की मौत के मामले को अनावश्यक तूल न दे मीडिया
डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने पुणे की एक युवती की आत्महत्या व उसके एक व्यक्ति के साथ कथित अवैध संबंध मामले की रिपोर्टिंग में मीडिया संयम दिखाए व इस मामले का अनावश्यक प्रचार न करें। हाईकोर्ट ने यह निर्देश युवती की पिता की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई के बाद दिया है। न्यायमूर्ति एसएस शिंदे व न्यायमूर्ति पीटाले की खंडपीठ के सामने याचिकाकर्ता की ओर से पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता शिरीष गुप्ते ने कहा कि उनके मुवक्किल को आठ फरवरी 2021 को पता चला था कि उनकी बेटी पुणे स्थित अपने फ्लैट की बालकनी से गिर गई थी। अस्पताल ले जाने के बाद डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था। इस घटना के बाद मेरी मुवक्किल की बेटी के एक व्यक्ति के साथ अवैध संबंध को लेकर प्रिंट व इलेक्ट्रानिक मीडिया ने खबरे देनी शुरु कर दी थी। ये खबरे मानहानिपूर्ण व अपमानजनक है। राजनीतिक दलों व मीडिया ने मेरे मुवक्किल की बेटी की बातचीत की 12 आडियो क्लिप सार्वजनिक की गई है।
उन्होंने खंडपीठ के सामने दावा किया पिछले दिनों हाईकोर्ट ने फिल्म अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत के मामले को लेकर दायर याचिकाओं पर एक महत्वपूर्ण फैसला दिया था। जिसमें कहा गया था कि रिपोर्टिंग करते समय मीडिया तय दिशा-निर्देशों का पालन करना चाहिए। इन दलीलों को सुनने के बाद खंडपीठ ने कहा कि मीडिया को महिला की मौत के मामले को अनावश्यक प्रचार देने से बचना चाहिए। खंडपीठ ने अब इस मामले की सुनवाई 31 मार्च 2021 को रखी है।
Created On :   5 March 2021 9:37 PM IST