दो साल से पहले तबादला सरकार के शासनादेश का उलंघन, हाईकोर्ट ने मैट के आदेश को रखा बरकरार

High court upheld order, Transferred before two years is Violation of the government mandate
दो साल से पहले तबादला सरकार के शासनादेश का उलंघन, हाईकोर्ट ने मैट के आदेश को रखा बरकरार
दो साल से पहले तबादला सरकार के शासनादेश का उलंघन, हाईकोर्ट ने मैट के आदेश को रखा बरकरार

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने महाराष्ट्र प्रशासकीय न्यायाधिकरण (मैट) के उस आदेश में हस्तक्षेप करने से इंकार कर दिया है जिसके तहत मैट ने पिपंरी चिंचवड के सहायक पुलिस आयुक्त श्रीधर जाधव के नंदुरबार स्थित अक्कलकुआ के उपविभागीय अधिकारी के रुप में किए गए तबादले के आदेश को रद्द कर दिया था। मैट ने जाधव के तबादले को सामान्य ट्रांसफर मानने से इंकार कर दिया था। क्योंकि जाधव ने अपने पद पर दो साल का कार्यकाल पूरा नहीं किया था। इसलिए जाधव का तबादला मध्यावधि ट्रांसफर था जो नियमों व  सरकार की ओर से तबादले को लेकर जारी शासनादेश के दायरे में नहीं आता है। 

मैट के इस आदेश से खुद को प्रभावित महसूस कर रहे सरकारी अधिकारी जीएम बिरादर ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। बिरादर का तबादला जाधव के स्थान पर किया गया था। चूंकि जाधव के तबादले को लेकर मैट ने सरकार के 7 जनवरी 2021 के आदेश को खारिज कर दिया था। इसलिए बिरादर ने मैट के आदेश को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। इससे पहले सरकारी वकील ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार ने मैट के आदेश को चुनौती नहीं दी है। 

मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता व न्यायमूर्ति गिरीष कुलकर्णी की खंडपीठ के सामने याचिका पर सुनवाई हुई। मामले से जुड़े तथ्यों पर गौर करने के बाद खंडपीठ ने कहा कि जाधव का दो साल का कार्यकाल अप्रैल 2021 में पूरा होता है। ऐसे में सरकार का शासनादेश उनके तबादले की इजाजत नहीं देता है। खंडपीठ ने कहा कि मामले को लेकर हमे मैट के आदेश में कुछ अवैध नजर नहीं आता है। इसलिए हमे मैट के आदेश में हस्तक्षेप करने की जरुरत महसूस नहीं होती है। यह कहते हुए खंडपीठ ने याचिका को आधारहीन मानते हुए उसे खारिज कर दिया।
 

Created On :   16 Feb 2021 10:19 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story