राज्य की लगभग आबादी 12 करोड़ है, ऐसे में सीरम इन्स्टिट्यूट ने 7 दिनों में 7 करोड़ टीके बना लिए तो देशभर के साथ ही राज्य की बड़ी आबादी का एकसाथ टीकाकरण संभव है। अबतक 20 प्रतिशत आबादी जिसमें फ्रंट लाइन वर्कर और 65 उम्र से अधिक और गंभीर बीमारियों से पीड़ित शामिल हैं, उन्हें टीका लग चुका है। कोरोना वैक्सीन पुणे और हैदराबाद में बनाई जा रही है।
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- If this pilot project implemented in Maharashtra then state become corona free in three months
दैनिक भास्कर हिंदी: यदि इस पॉयलट प्रोजेक्ट पर हुआ काम तो तीन महीने में महाराष्ट्र हो जाएगा कोरोना मुक्त
हाईलाइट
- इलेक्शन बूथ की तरह वैक्सीनेशन बूथ की जरूरत
- इस पॉयलट प्रोजेक्ट से जीत जाएंगे हम कोरोना के खिलाफ लड़ाई
- अगले तीन महीनों में बड़ी आबादी की इम्यूनिटी होगी मजबूत
- जाने-माने डॉक्टर ने बताया अगले तीन महीने में जीत सकते हैं बड़ी जंग
डिजिटल डेस्क, नागपुर। कोरोना संक्रमण लगातार बढ़ रहा है, नौबत अब यह है कि महाराष्ट्र संक्रमण को लेकर दुनिया में तीसरे नंबर पर पहुंच गया है, लेकिन यदि बड़े पैमाने पर ठोस कदम उठाए जाएं, तो कुछ ही दिनों में महाराष्ट्र कोरोना मुक्त हो सकता है। Executive Director of COMHAD UK और जानेमाने बाल विशेषज्ञ डॉक्टर उदय बोधनकर का कहना है कि महाराष्ट्र सहित देशभर में यदी इलेक्शन बूथ की तरह वैक्सीनेशन बूथ लगा दिए जाएं, तो कोरोना के खिलाफ जंग हम बहुत ही कम समय में जीत जाएंगे। इस पॉयलट प्रोजेक्ट को देशभर में लागू कर कुछ ही महीनों में सैंकड़ों जिन्दगियां बचाई जा सकती हैं।


इलेक्शन बूथ की तरह वैक्सीनेशन बूथ
डॉक्टर बोधनकर की सलाह है कि जिस तरह चुनाव आयोग शिक्षकों और प्रशासनिक तंत्र का इस्तेमाल कर 80 प्रतिशत तक सफल मतदान करवा सकता है, तो क्या उसी तर्ज पर बड़ी आबादी को वैक्सीनेशन बूथ तक नहीं लाया जा सकता। इस पॉयलट प्रोजेक्ट को अमली जामा पहनाते हुए राज्य के गांव-गांव कस्बों से लेकर महानगरों तक पोलिंग बूथ की तरह वैक्सीनेशन बूथ तैयार किए जाएं और टीकाकरण करवाने आ रहे लोगों का आधार नंबर देखकर, वैक्सीनेशन दिया जा सकता है, ज्यादा कागजी कार्रवाई से बचना होगा, यह समय और मैन पावर खर्च करती है।
यह टीकाकरण अभियान दो या तीन चरणों में भी किया जा सकता है। मसलन यदि बच्चों, किशोर और युवकों (25 साल उम्र) तक आबादी का अनुपात अलग करें, तो बाकी आबादी का टीकाकरण दो से तीन महीनों में पूरा हो सकता है, जिससे आबादी का यह हिस्सा भी दो से तीन महीने में हार्ड इम्यूनिटी बना लेगा, हालांकि अभी बच्चों को वैक्सीनेशन नहीं दिया जा रहा है। कोरोना का भयावाह असर बच्चों में नहीं देखा गया है।
सबसे पहले 25 साल से ज्यादा उम्र वाली आबादी की बात करें, तो महिलाओं-पुरुषों और बुजुर्गों को चुनावी सरगर्मी की तरह वैक्सीन बूथ पर लाना मुश्किल काम नहीं है। वहां अस्पतालों की नर्सेस और डॉक्टरों का सहियोग लिया जा सकता है। शिक्षक इस काम में आबादी को वैक्सीनेशन बूथ तक लाने में अहम रोल निभा सकते हैं, क्योंकि घर- घर जाकर आंकड़े जुटाने का खासा अनुभव होता है।

देश में दो वैक्सीन उपलब्ध
कोरोना वायरस से बचाव के लिए भारत में कोरोना की दो वैक्सीन है। सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया की कोविशील्ड और भारत बॉयोटेक की कोवैक्सीन है।
कोविशील्ड वैक्सीन की दो खुराक लगती है, पहला टीका लगने के बाद पहले महीने 60 प्रतिशत, दूसरे महीने 70 प्रतिशत और तीसरे महीने 90 प्रतिशत तक इम्यूनिटी मजबूत होती है।
इसी तरह कोवैक्सीन की भी दो खुराकें हैं, जो लेने के बाद 80 प्रतिशत तक इम्यूनिटी बूस्ट होती है।
अब कोरोना से व्यापक लड़ाई का एकमात्र रास्ता टीकाकरण ही है। सरकार के पास पहले से ही ऐसी व्यवस्था है कि अगर सभी क्षेत्रों के कर्मचारी और अधिकारी काम करना शुरू कर दें, तो लोगों को टीकाकरण के लिए घर से बूथ तक लाना आसान है।
सरकारी और निजी अस्पतालों के डॉक्टर स्वेच्छा से इस पॉयलट प्रोजेक्ट में शामिल हो सकते हैं।
यह टीका मुफ्त है, ऐसे में काला बाजारी और धांधली का कोई सवाल नहीं उठता।
फिल्हाल यदि राज्य के सभी सांसद, विधायक, मुख्यमंत्री और विपक्ष के नेता टीका लगवाना चाहते हैं, तो टीका तुरंत उपलब्ध किया जाए।
यदि टीकाकरण अभियान दिन-रात चलाया गया, तो महज तीन महीने में कोरोना संक्रमण का खात्मा हो जाएगा।

दैनिक भास्कर के डिजिटल प्लेटफार्म bhaskarhindi.com से खास बातचीत के दौरान डॉक्टर उदय बोधनकर ने अपील की है कि लोग वैक्सीनेशन से डरें नहीं, जिस तरह बच्चों को दो "बूंद जिन्दगी का" पोलियो ड्रॉप देना जरूरी है। इसी तरह "दो डोज जिन्दगी का" वैक्सीनेशन भी जरूरी हो गया है। मौजूदा दौर में हमारे पास दो ही विकल्प हैं, या तो संक्रमित होना गंभीर नतीजों के बाद दुनिया से चले जाना। या वैक्सीनेशन लेकर संक्रमण को बढ़ने से रोकना और खुद को बचा लेना। इस पर सोचना होगा, क्योंकि जिन्दगी फिर न मिलेगी दोबारा।

दुनियाभर में टॉप-3
कोरोना के नए केस
ब्राजील | 82,869 |
अमेरिका | 62,283 |
महाराष्ट्र | 55,469 |
पौधारोपण अभियान: आरएनटीयू एनसीसी नेवल विंग का पौधारोपण अभियान प्रारंभ
डिजिटल डेस्क, भोपाल। रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के एनसीसी नेवल विंग ने केजीएन सोशल फाउंडेशन के साथ मिलकर बीएचईएल के स्वर्ण जयंती पार्क में लगभग 200 पौधों का रोपण किया। एनसीसी नेवल विंग द्वारा आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत 1 जुलाई से 15 अगस्त तक पौधारोपण अभियान शहर के अलग-अलग स्थानों पर अधिक से अधिक संख्या में लगाने का लक्ष्य रखा गया है। इस अभियान की शुरुआत बीएचईएल के स्वर्ण जयंती पार्क में कैडेटों द्वारा केजीएन सोशल फाउंडेशन के साथ मिलकर लगभग 200 पौधों का रोपण कर किया गया। इस अभियान के अंतर्गत कैडेटों की अलग अलग टीम बनाकर रोपित किए गए पौधों की समय-समय पर निगरानी भी की जाएगी।
इस अभियान में कैडेटों के साथ-साथ एनसीसी अधिकारी सब लेफ्टिनेंट मनोज सिंह मनराल, इंस्ट्रक्टर दुर्गा वर्मा, केजीएन सोशल फाउंडेशन के अध्यक्ष मुनव्वर खान, उपाध्यक्ष गौरव बवनकुले तथा अन्य सदस्यों ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया साथ ही केजीएन सोशल फाउंडेशन ने विश्वविद्यालय को सर्टिफिकेट भी प्रदान किया।
क्लोजिंग बेल: : गिरावट के साथ बंद हुआ बाजार, सेंसेक्स 111 अंक लुढ़का, निफ्टी भी टूटा
डिजिटल डेस्क, मुंबई। देश का शेयर बाजार कारोबारी सप्ताह के पांचवे और आखिरी दिन (01 जुलाई 2022, शुक्रवार) गिरावट के साथ बंद हुआ। इस दौरान सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ही लाल निशान पर रहे। बंबई स्टॉक एक्सचेंज (BSE) के 30 शेयरों पर आधारित संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 111.01 अंक यानी कि 0.21% की गिरावट के साथ 52,907.93 के स्तर पर बंद हुआ।
वहीं नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) के 50 शेयरों पर आधारित संवेदी सूचकांक निफ्टी 28.20 अंक यानी कि 0.18% की गिरावट के साथ 15,752.05 के स्तर पर बंद हुआ।
जबकि बैंक निफ्टी में तेजी रही एवं उसने 114 अंकों की बढ़त के साथ 33539.45 पर सत्र की समाप्ति दी। निफ्टी के 50 शेयरों में से 36 में तेजी रही जो व्यापक खरीदारी दर्शाते हैं।क्षेत्र विशेष में रियलिटी तथा एफएमसीजी सूचकांक 1.5 प्रतिशत से 2.80 प्रतिशत बढ़े जबकि आयलएंडगैस सूचकांक ओएनजीसी तथा रिलायंस में बड़ी गिरावट के कारण 3 प्रतिशत गिरा। निफ्टी के शेयरों में आईटीसी, बजाज फाइनेंस,बजाज फिन सर्व, ब्रिटानिया में सर्वाधिक लाभ रहा जबकि ओएनजीसी, रिलायंस, बजाज ऑटो, पावर ग्रिड में सबसे अधिक हानि रही।
तकनीकी आधार पर दैनिक चार्ट पर निफ्टी ने हैमर सदृश कैंडल बनाया है जो आगामी सत्र में तेजी की चाल का संकेत है। साप्ताहिक चार्ट पर निफ्टी ने बुलिश हरामी कैंडल स्टिक प्रारूप की पुष्टि की है जो आनेवाले सत्र के लिए तेजी का संकेत है। निफ्टी ने 100 एचएमए पर सपोर्ट लिया है तथा इस स्तर के ऊपर बंदी दी है जो अगले सत्र के लिए एक शक्ति का परिदृश्य दर्शा रहा है। मोमेन्टम संकेतक दैनिक चार्ट पर स्टॉकिस्टिक एवं एमएसीडी सकारात्मक क्रॉसओवर के साथ ट्रेड कर रहे हैं, ये भी निफ्टी में बढ़त आने का संकेत है।
निफ्टी 15500 पर सपोर्ट ले सकता है, तेजी में 15900 तात्कालिक अवरोध है। 15900 के ऊपर जाने पर तेजी की चाल गति पकड़ सकती है। बैंक निफ्टी का सपोर्ट 32600 तथा अवरोध 34000 है। कुलमिला कर निफ्टी 15500 के सपोर्ट के साथ शक्तिशाली लग रहा है।आज के सत्र में निफ्टी तथा निफ्टी शेयरों ने वैश्विक, विशेषकर अमेरिकी शेयर बाजार में दुर्बलता के बाद भी अच्छी शक्ति दिखाई। यदि भारतीय बाजार वर्तमान स्तरों की रक्षा करने में सफल रहते हैं, टिक पाते हैं तो फिर एक तीव्र तेजी की चाल आ सकती है तथा बुरा समय कुछ समय विशेष के लिए समाप्त भी हो सकता है।
पलक कोठारी
रीसर्च एसोसिएट
चॉइस ब्रोकिंग
Source: Choice India
३२ साल के डॉ. राज पढियार ने देश भर में बनायी विशेष पहचान: गुजरात के गृहमंत्री, तेलंगाना एवं पोंडिचेरी के गवर्नर सहित देश विदेश की नामी हस्तियाँ करती है फ़ॉलो
डिजिटल डेस्क, भोपाल। थाने ज़िला के मीरा भायंदर के युवा उधमी - डॉ. राज पढियार ने अपने आंट्रेप्रेनरशीप और डिजिटल मीडिया से देश भर में अपनी विशेष पहचान बनायी हैं । इसका अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है की उन्हें ट्विटर पर गुजरात के गृह मंत्री - हर्ष संघवीजी, तेलंगाना एवं पोंडिचेरी गवर्नर - डॉ. तमिलिसाई सौंदराराजन, तहसीन पूनावाला, कोंग्रेस के राष्ट्रीय युवा अध्यक्ष - बी श्रीनिवास, भाजपा के राष्ट्रीय युवा अध्यक्ष एव सांसद - तेजस्वी सूर्या, उद्धव ठाकरे साहेब के पीए - बी के राजपूत, इनकम टैक्स कमिशनर - सुग्रीव मीना, ABP न्यूज़ के ऐंकर - विकास भदोरिया, राहुल गांधी के पीएस - कौशल विद्यार्थी, बोलीवुड अभिनेता अमित साध, WTO के भारत के डिरेक्टर - आशीष चंडोरकर, दुबई के शेख़ - डॉ. मोहम्मद अल हेमीयरी समित भारत सरकार के कई मंत्रालय, विभिन्न राज्य के प्रदेशध्यक्ष, सांसद, अभिनेता, सामाजिक कार्यकर्ता एवं नामी हस्तियाँ फ़ॉलो करती है । यह सभी लोग डॉ. राज के शिक्षण एवं डिजिटल मीडिया के क्षेत्र के बदोलत इनके सम्पर्क में रहकर निरंतर चर्चा एवं वार्ता विमश करते रहते है ।
डॉ. राज पढियार - एशिया की प्रसिद्ध एजुकेशन कंपनी -
डिजिटल गुरुकुल के संस्थापक है जिसने अभी तक पूरी दुनिया में ४५,०००+ से ज़्यादा छात्रों को डिजिटल क्षेत्र में प्रशिक्षा देकर उन्हें रोज़गार एवं स्टार्टअप के हेतु योग्य बनाया है । कोरोना काल में डॉ. राज की संस्था ने १५००+ से ज़्यादा भारत, दुबई के युवाओं को डिजिटल स्किल की निशुल्क शिक्षा देकर उन्हें रोज़गार प्राप्त करने में सहायता करी ।
डॉ. राज पढियार अब तक ५०००+ से ज़्यादा लेक्चर ले चुके है जिसमें ३१,०००+ छात्रों को ट्रेनिंग देके उन्हें रोज़गार हेतु योग्य बना चुके है । उन्होंने अब तक अपनी २ किताबें पब्लिश करी है १ - सोशल मीडिया एंड पॉलिटिक्स इन इंडिया - जिसे भारत के अग्रणी राजनेताओ ने पढ़कर उसकी सराहना की है, २ - फ़ंडामेंटलस ओफ़ डिजिटल मार्केट जो डिजिटल मीडिया विषय पर लिखी हुई भारत की पहली एकाडेमिक बुक है - यह बुक भारत के २५० से ज़्यादा कॉलेज के लाइब्रेरी में उपलब्ध है।
डॉ. राज पढियार को शिक्षा एवं डिजिटल क्षेत्र में योगदान के चलते उन्हें “दुनिया के सर्वश्रेस्ठ १०० डिजिटल लीडर” में स्थान मिला जो भारत के लिए बहोत गर्व की बात थी । इसके अलावा उन्हें बॉलीवुड अभिनेत्री सोहा अली खान, कलाकार मुकेश खन्ना एवं कई बड़े कलाकारों ने विभिन्न पुरस्कारों से सम्मानित किया है ।
अपने स्टार्टप के शुरुआती दौर में काफ़ी स्ट्रगल करने के बाद डॉ. राज पढियार ने अपने अथाग परिश्रम एवं मेहनत से आज जो मुक़ाम तक पहोचे है जिससे उनकी देश विदेश में लोग सराहना कर रहे है और भारत का नाम और रोशन किया है।
मूवर्स और पैकर्स: कैसे एश्योरशिफ्ट ने भारत में स्थानांतरण के अनुभव को बेहतर बनाया है
डिजिटल डेस्क, भोपाल। देश में बढ़ती जनसंख्या, शैक्षिक प्रगति और मूल तोर से नौकरी के अवसर के कारण, देश के अंदर और विदेश के कई शहरों में, प्रवास करने वाले अन्य शहरों के लोगों की संख्या उल्लेखनीय मत्रा से वृद्धि पाई है।
इस कारण से स्थानांतरण सेवा के मांग में तेजी से वृद्धि हुई। कई पैकर्स एंड मूवर्स कंपनियों की स्थापना भी हुई है जो घर, कार्यालयों के सामना, कार, बाइक, आदि को स्थानांतरित करने के लिए आवश्यक सेवाएं प्रदान करती हैं। हालांकि, किसी भी नए उत्पाद के साथ, कई नकली और गैर-पेशेवर चलती कंपनि स्थापित होते हैं। धीरे-धीरे भारतीय स्थानांतरण बाजार में इस तरह के कंपनि आकर बेहद कम लागत वाली कोटेशन की पेशकश करके निर्दोष ग्राहकों का शिकार करना शुरू कर दिया। वे गुणवत्ता सेवाओं, अतिरिक्त सहायता आदि जैसे कई वादे करते हैं, लेकिन अंत में अक्सर ग्राहकों के पैसे और सामान लूट लेते हैं।
स्व-चलन के साथ आने वाली कठिनाइयों और जोखिमों को ध्यान में रखते हुए, पेशेवर स्थानांतरण सेवा प्रदाताओं को नियुक्त करने की सलाह दी जाती है लेकिन कंपनी के इतिहास और पृष्ठभूमि की जांच कर लेने के बाद। आपको एक पैकर्स मूवर्स कंपनी के पंजीकरण दस्तावेजों और पहले के ग्राहकों की कई समीक्षाएं पढ़ कर, उनका व्यापक शोध करना चाहिेए। लेकिन सामान्य ज्ञान के अनुसार, दस्तावेज़ीकरण, कंपनी विवरण, कार्यालय स्थान आदि की पुष्टि करना आसान काम नहीं है और पहली बार जांच करने वाले के लिए अत्यधिक समय लग सकता है।
प्रत्येक ग्राहक पहली कोशिश में अपने निकट के ईमानदार पैकर्स एंड मूवर्स कंपनी से संपर्क कर रहा है और बाजार में धोखाधड़ी सेवा प्रदाताओं का खात्मा हो रहा है, यह सुनिश्चित करने के लिए एश्योरशिफ्ट की स्थापना की गई थी।
AssureShift Packers and Movers एक मानक बन गया है यह भारत का सबसे अच्छी ऑनलाइन पैकर्स और मूवर्स निर्देशिका है, जिसमें 25 से अधिक शहरों के शीर्ष पैकर्स और मूवर्स की सूची है। 2017 की शुरुआत में लॉन्च होने के बाद से, एश्योरशिफ्ट ने देश भर में 50,000 से अधिक परिवारों और व्यक्तियों को सफलतापूर्वक स्थानांतरित किया है। हमारे पार्टनर पैकर्स और मूवर्स के पास पर्याप्त अनुभव है और वे घरेलू सामान पैकिंग और मूविंग, कार ट्रांसपोर्टेशन सर्विसेज, बाइक शिफ्टिंग सर्विसेज, ऑफिस शिफ्टिंग आदि जैसे सभी प्रकार के सामानों को स्थानांतरित करने के लिए अच्छी तरह से प्रशिक्षित हैं। हम सुनिश्चित करते हैं इस दौरान हमारी पार्टनर कंपनियां उच्च गुणवत्ता वाली सेवाओं, किफायती शुल्क, समय पर घर से पिकअप और डिलीवरी, पेशेवर व्यवहार जैसे पूर्ण ग्राहक सहायता का आश्वासन दे रही हैं।
एक बार जब ग्राहक पूछताछ फॉर्म भरते हैं, तो मुश्किल से 10 क्लिक के भीतर, एश्योरशिफ्ट निर्दिष्ट स्थानांतरण आवश्यकताओं के अनुसार ग्राहक के निकटतम 3 शीर्ष पैकर्स एंड मूवर्स कंपनियों को संदर्भित करता है। ग्राहक सटीक स्थानांतरण शुल्क प्राप्त करने के लिए प्री-मूव सर्वेक्षण कर सकते हैं और दरों, प्रोफाइल, समीक्षाओं और रेटिंग की तुलना करके सबसे उपयुक्त पैकर्स और मूवर्स कंपनी के साथ सौदा कर रहे हैं।
एश्योरशिफ्ट का 4-चरणीय तरीका एक सुनिश्चित स्थानांतरण के लिए
#1 पूर्ण तरह से बैकग्राउंड की जांच
एक पैकर्स और मूवर्स कंपनी की विश्वसनीयता साबित करने वाले मुख्य कागज-पत्र में से एक यह है कि उनके पास सरकार द्वारा दिए गए आवश्यक पंजीकरण दस्तावेज होना चाहिए। एश्योरशिफ्ट निम्न प्रकार से जाँच करके स्थानांतरण सेवा प्रदाताओं की पूरी गहराई से पृष्ठभूमि का सत्यापन करता है:
- कंपनी जीएसटी पंजीकरण,
- कार्यालय सेटअप, स्थान और प्रमाण,
- ओनर आईडी प्रूफ,
- संपर्क विवरण,
- ग्राहक प्रतिक्रिया के साथ पूर्व कार्य अनुभव,
- Google रेटिंग और समीक्षाएं।
एश्योरशिफ्ट ग्राहकों को परेशानी मुक्त और विश्वसनीय पैकिंग मूविंग सेवाएं प्रदान करने और उनके स्थानांतरण के अंत में 100% संतुष्टि की सुनिश्चित करता है।
#2 बजट के अनुकूल दरों पर सर्वोत्तम मिलान वाली सेवाएं
हमारे पार्टनर पैकर्स एंड मूवर्स के पास रिलोकेशन सेवाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदर्शन करने का अच्छा अनुभव है और ग्राहकों की आवश्यकता के अनुसार किसी भी आइटम को स्थानांतरित करने के लिए अच्छी तरह से प्रशिक्षित हैं। वे शुरू से अंत तक पूरी प्रक्रिया को संभालने में सक्षम हैं, यानी, एक अच्छी तरह से नियोजित रणनीति तैयार करना, पैकिंग, लोडिंग, पूरी सुरक्षा के साथ वस्तुओं का परिवहन, और गंतव्य पर अनलोडिंग और अनपैकिंग करना।
युक्ति: भारत में सबसे सटीक पैकर्स और मूवर्स शुल्क प्राप्त करने के लिए (किसी भी आइटम को देश में किसी भी स्थान पर ले जाने के लिए), हमेशा एक भौतिक प्री-मूव सर्वेक्षण अनुरोध करें। जब मूवर्स व्यक्तिगत रूप से वस्तुओं का सर्वेक्षण करते हैं, तो उन्हें सटीक आवश्यकताओं का बेहतर विचार मिलता है और वे स्थानांतरण लागत की अधिक सटीक गणना करने में सक्षम होते हैं।
#3 लाइटनिंग-फास्ट रिस्पांस और एंड-टू-एंड सपोर्ट
एश्योरशिफ्ट ग्राहकों के किसी भी प्रश्न का तुरंत जवाब देकर आपके हर कदम को परेशान मुक्त बनाने के लिए निरंतर काम करता है।
- फॉर्म जमा करते ही ग्राहकों को तुरंत रेफर किए गए मूवर्स की पूरी जानकारी मिल जाएगी।
- हमारे मूवर्स भी जल्दी से स्थानांतरण लागत का अनुमान लगाते हैं या भौतिक पूर्व-चाल सर्वेक्षण के लिए घर भी आ सकते हैं।
- एश्योरशिफ्ट के उपयोग सेआसान इंटरफेस के साथ, कई मूवर्स के विवरणों की तुलना कम समय में आसानी से की जा सकती है (जैसे, चेकिंग शुल्क, सेवाओं की पेशकश, रेटिंग, समीक्षा, आदि)।
साथ ही, एश्योरशिफ्ट सुनिश्चित करता है कि ग्राहकों को पूरी स्थानांतरण प्रक्रिया के दौरान आवश्यक समर्थन मिले, यानी अनुरोध जमा करने के समय से लेकर सामान की अंतिम डोरस्टेप डिलीवरी तक।
# 4 नियमित प्रतिक्रिया और गुणवत्ता संरक्षण
एश्योरशिफ्ट ग्राहकों की पूर्ण संतुष्टि सुनिश्चित करने के लिए काम करता है। ग्राहकों से नियमित फीडबैक लेने से संभावित ग्राहकों को अच्छी तरह से सूचित निर्णय लेने में मदद मिलती है और साथ ही साथ हर दिन काम करने की प्रक्रिया में सुधार होता है। एश्योरशिफ्ट को ग्राहकों द्वारा सामना की स्थानांतरण के समय आने वाली विभिन्न समस्याओं जैसे कि अचानक मूल्य वृद्धि, सामान का नुकसान, स्थानांतरण के दौरान मूवर्स के अनैतिक व्यवहार पता चलता रहता है।
प्राप्त शिकायतों की गंभीरता के आधार पर, एश्योरशिफ्ट सेवा की गुणवत्ता को बनाए रखने के लिए आवश्यक कार्रवाई करता है, :जैसे
- गैर-पेशेवर मूवर्स और पैकर्स को अस्थायी रूप से निलंबित या वेबसाइट से उनके व्यावसायिक प्रोफाइल को स्थायी रूप से हटाकर दंडित करना, साथ ही साथ
- लिस्टिंग में उच्च रैंक मैं रख के शीर्ष प्रदर्शन करने वाली कंपनियों को पुरस्कृत करना ।
निष्कर्ष के तौर पर
एश्योरशिफ्ट समझती है कि कई सारे सामान ले जाना जोखिम भरा हो सकता है और वित्तीय, मानसिक और शारीरिक दबाव पैदा कर सकता है, खासकर बिना किसी पूर्व अनुभव से किया गया हो तो। इसके अलावा, बहुत से ग्राहक वास्तव में भरोसेमंद स्थानांतरण सेवा प्रदाताओं को किराए पर लेने का सही तरीका भी नहीं जानते हैं। और तो और क्योंकि वर्तमान समय में कई धोखाधड़ी करने वाली कंपनियां भी बाजार में स्थापित हैं।
धोखेबाज पैकर्स और मूवर्स को खत्म करने के मिशन के साथ, एश्योरशिफ्ट ने स्थानांतरण कंपनियों के काम काज़ की प्रक्रिया में सुधार लाई हे, और इसके परिणामस्वरूप, भारत में पैकिंग और स्थानांतरित करने की प्रक्रिया में क्रांतिकारी बदलाव आया है। एश्योरशिफ्ट के माध्यम से जाने का सबसे महत्वपूर्ण लाभ यह है कि भरोसेमंद पैकर्स और मूवर्स ढूंढना आसान हो जाता है, और बजट के अनुसार सही कंपनी मिनटों के अंदर मिल जाता है।
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