कोर्ट का आदेश- क्षमता से अधिक बच्चों को बैठने वाले स्कूल वाहनों का निलंबित हो परमिट

permits will Suspended, when children sit above capacity in school buss
कोर्ट का आदेश- क्षमता से अधिक बच्चों को बैठने वाले स्कूल वाहनों का निलंबित हो परमिट
कोर्ट का आदेश- क्षमता से अधिक बच्चों को बैठने वाले स्कूल वाहनों का निलंबित हो परमिट

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से जानना चाहा है कि राज्य भर में 12 सीट से कम क्षमता वाले कितने वाहनों को स्कूल बस के रुप में चलने का परमिट जारी किया गया है। अदालत ने कहा कि क्षमता से अधिक बच्चों को बैठाने वाले स्कूल वाहनों के परमिट निलंबित किए जाए। हाईकोर्ट ने सोमवार को पैरेंट टीचर्स एसोसिएशन की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान यह निर्देश दिया। जस्टिस नरेश पाटील व जस्टिस नितिन सांब्रे की बेंच ने सरकार को अगली सुनवाई के दौरान बताने को कहा है कि क्षमता से अधिक बच्चों को बैठाने वाले वाहनों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए क्या सरकार ने उड़न दस्ते बनाए हैं।

क्या स्कूल बस से जुड़े मुद्दों को देखने के लिए जिला स्तर पर व स्कूल में कमेटी बनाई गई है? इस दौरान बेंच ने कहा कि क्षमता से अधिक बच्चों को बैठाने वाले स्कूल बस व अन्य वाहनों का परिमट निलंबित कर उन्हें नोटिस जारी किया जाए। बेंच ने कहा कि स्कूल बस चलानेवाले ड्राइवर को भी काफी प्रशिक्षित होना चाहिए। बेंच ने कहा कि नियमों का उल्लंघन करनेवाले ड्राइवरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो। इस दौरान बेंच ने सड़क दुर्घटना के चलते होनेवाली मौत को लेकर भी चिंता जाहिर की।

वाहनों की क्षमता 12 सीट से कम
इससे पहले एक आवेदनकर्ता ने कोर्ट को बताया कि सरकार ने उनके वाहनों को परमिट तो जारी किया है, लेकिन उन्हें स्कूली बच्चों को ले जाने की अनुमति नहीं है। क्योंकि उनके वाहनों की क्षमता 12 सीट से कम है। परमिट के बावजूद ऐसे वाहनों को न चलने देने के मुद्दे पर बेंच की ओर से किए गए सवाल के जवाब में सरकारी वकील अभिनंदन व्याज्ञानी ने कहा कि केंद्र सरकार ने कानून में संसोधन किया है, जिसके चलते 12 सीट से कम क्षमता वाले वाहनों को स्कूली बच्चों को ले जाने की अनुमति नहीं है।

इस पर बेंच ने कहा कि सरकार हमे बताए कि ऐसे कितने वाहनों को परमिट जारी किया गया है। बेंच ने कहा कि सरकार आश्वस्त करे की स्कूल बस मालिक सुरक्षा से जुड़े सभी नियमों का पालन करें। स्कूल बस की खिड़कियों में ग्रील, बस में आपातकालिन द्वार व महिला कर्मचारी को रखना अनिवार्य है। बेंच ने फिलहाल मामले की सुनवाई चार सप्ताह तक के लिए स्थगित कर दी है। 
 

Created On :   22 Jan 2018 9:15 PM IST

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