जेल में बंद कैदियों का होगा रैपिड एंटीजेन टेस्ट, गंभीर कैदियों की जांच को प्राथमिकता

Prisoners in jail will have rapid antigen test, investigation of serious prisoners will be preferred
जेल में बंद कैदियों का होगा रैपिड एंटीजेन टेस्ट, गंभीर कैदियों की जांच को प्राथमिकता
जेल में बंद कैदियों का होगा रैपिड एंटीजेन टेस्ट, गंभीर कैदियों की जांच को प्राथमिकता

डिजिटल डेस्क, मुंबई। राज्य सरकार ने बॉम्बे हाईकोर्ट को सूचित किया कि किट की उपलब्धता के आधार पर कैदियों का रैपिड एंटीजेन टेस्ट किया जाएगा। यह टेस्ट कोरोना की जांच के लिए किया जाता हैं। पहले गंभीर कैदियों की जांच को प्राथमिकता दी जाएगी। हाईकोर्ट में कैदियों को कोरोना के संक्रमण से बचाने के लिए पर्याप्त इंतजाम करने का निर्देश देने की मांग को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई चल रही हैं। जो शुक्रवार को पूरी हो गई। इस विषय पर पीपल यूनियन फ़ॉर सिविल लिबर्टी नामक संस्था ने याचिका दायर की है। 

इस दौरान याचिकाकर्ता की ओर से पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता ने कहा कि कैदियों की बड़े पैमाने पर कोरोना की जांच किए जाने की जरूरत है। सिर्फ कैदियों के तापमान की जांच करना पर्याप्त नहीं है। उन्होंने कहा कि कैदियों के मामले को लेकर निचली अदालतो में हाई पावर कमेटी के निर्देशों का पालन नहीं हो रहा है। 

वही राज्य के महाधिवक्ता ने कहा कि कैदियों में खतरे के आधार पर रैपिड एंटीजेन टेस्ट किया जाएगा। इसके साथ ही सरकार कैदियों के संबंध पेश किए गए मसौदे के निर्देशों को भी जल्द ही सभी के सुझावों को सुनने के बाद लागू किया जाएगा। राज्य भर में 60 साल के उपर 1414 कैदी हैं। मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता की खंडपीठ ने सभी पक्षों को सुनने के बाद अपना फैसला सुरक्षित कर लिया। 

Created On :   26 Jun 2020 9:08 PM IST

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