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गर्भवती होने की अफवाह फैला शादी तोड़वाने वाले युवक को जमानत नहीं
डिजिटल डेस्क, मुंबई। लड़की के भावी पति को उसके गर्भवती होने की गलत जानकारी देकर उसकी शादी रद्द होने की वजह बननेवाले एक युवक को बांबे हाईकोर्ट ने अग्रिम जमानत देने से इंकार कर दिया है। मामले से जुड़े तथ्यों पर गौर करने के बाद हाईकोर्ट ने पाया कि आरोपी स्वप्निल होले ने पीड़ित लड़की के भावी पति को फोन करके उसकी होनेवाली पत्नी के साथ शारीरिक संबंधों होने की गलत जानकारी दी है। इससे पहले होले ने लड़की का मोबाइल नंबर हासिल करने के लिए कई बार उसे सड़क पर रोका था। यहीं नहीं वह कालेज जाते समय लड़की का पीछा करता था। लड़की के अभिभावकों की चेतावनी के बाद भी होले ने लड़की का पीछा करना नहीं छोड़ा। यहीं नहीं वह लड़की को संबंध बनाने के लिए परेशान करता था। एक दो बार होले ने लड़की को अनुचित तरीके से छुआ भी था। कुछ समय बाद लड़की के माता –पिता ने अपनी बेटी की शादी किसी दूसरे लड़के के साथ तय कर दी। इस पर होले लड़की के भावी पति को लड़की के विषय में गलत जानकारी देने लगा। होले ने पीड़ित लड़की के भावी पति को बताया था कि जिससे उसकी शादी होनेवाली है वह लड़की गर्भवती है। जिसके चलते लड़की की शादी रद्द हो गई। इससे परेशान होकर होले के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। मामले में गिरफ्तारी की आशंका को देखते हुए होले ने हाईकोर्ट में अग्रिम जमानत आवेदन दायर किया। न्यायमूर्ति पीएन देशमुख के सामने आवेदन पर सुनवाई हुई। मामले से जुड़े तथ्यों पर गौर करने के बाद न्यायमूर्ति ने कहा कि इस प्रकरण में आरोपी की भूमिका नजर आ रही है। इसलिए आरोपी को फिलहाल अग्रिम जमानत प्रदान नहीं की जा सकती है। यह कहते हुए न्यायमूर्ति ने आरोपी की जमानत अर्जी को खारिज कर दिया।
सिडको का चेयरमेन बनाने के नाम पर लाखो रुपए लेनेवालों आरोपियों की जमानत अर्जी खारिज
वहीं बांबे हाईकोर्ट ने सिडको का चेयरमेन बनाने के नाम पर लाखों रुपए हड़पनेवाले आरोपियों की जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है। आरोपी प्रवीण सिंह ने अपने एक साथी के साथ मिलकर अशिफ जोजवाला नाम के शख्स को सिड़को का चेयरमेन बनाने के नाम पर सात करोड़ रुपए की मांग की थी। सात करोड़ में से काफी रकम जोजवाला ने सिंह को दे दी थी। बाद में काम न होने पर पैसे वापस मांगने पर जोजवाला को रुपए वापस नहीं किए। इससे परेशान होकर जोजवाला ने आत्महत्या कर ली थी। पुलिस को जोजवाला की कार से एक सुसाइड नोट मिला। जिसे पढने के बाद पुलिस ने सिंह व एक और आरोपी के खिलाफ जोजवाला को आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज किया। इसके बाद आरोपी सिंह ने हाईकोर्ट में जमानत अर्ज दायर की थी। मामले से जुड़े तथ्यों पर गौर करने के बाद न्यायमूर्ति अजय गड़करी ने कहा कि इस मामले में आरोपी की संलिप्तता नजर आ रही है। और उस पर गंभीर आरोप है। इसलिए आरोपी की जमानत अर्जी को खारिज किया जाता है।
Created On :   29 May 2019 7:15 PM IST