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जॉनसन एंड जॉनसन बेबी पाउडर के नमूनों की नई रिपोर्ट पर राज्य सरकार के एफडीए से मांगा जवाब
डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने जॉनसन एंड जॉनसन बेबी पाउडर के नमूनों की जांच को लेकर आयी नई रिपोर्ट पर राज्य सरकार के अन्न व औधष प्रशासन (एफडीए) से जवाब मांगा है। हाईकोर्ट में बेबी पावडर को लेकर सौपी गई दो प्रयोगशालाओं की रिपोर्ट में कहा गया है कि पावडर में पीएच (पोटेंसियल आफ हाइड्रोडन) कानून के हिसाब से तय किए गए मानक के हिसाब से पाया गया है। जबकि तीसरी रिपोर्ट में पीएच की मात्रा अस्थिर पायी गई है। पिछले दिनों हाईकोर्ट ने नए सिरे से तीन प्रयोगशाला में पाउडर के नूमूनों की जांच के निर्देश दिए थे। इसके बाद कोर्ट में रिपोर्ट सौपी गई है। अब न्यायमूर्ति एसवी गंगापुरवाला की खंडपीठ ने रिपोर्ट की प्रति याचिकाकर्ता(कंपनी) को देने को कहा और एफडीए से जवाब मांगा है। खंडपीठ ने अब 6 दिसंबर को याचिका पर सुनवाई रखी है।
इससे पहले पाउडर के नमूनों की जांच में पीएच तय मानक के तहत नहीं पाए गए थे। इसके साथ ही नमूनों की जांच के बाद पाउडर में बच्चों के लिए हानिकारक तत्व जाने का खुलासा किया गया था। जिसके बाद कंपनी के लाइसेंस रद्द कर दिया था और पाउडर के निर्माण व बेचने पर रोक लगा दी गई थी। पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कंपनी को अपने जोखिम पर पाउडर का निर्माण करने की इजाजत दी थी किंतु पाउडर के बेचने पर सरकार की ओर से लगाई गई रोक को जारी रखा था।
कंपनी ने राज्य सरकार के विभाग एफडीए की ओर से जारी किए गए दो आदेशों को याचिका दायर कर हाईकोर्ट में चुनौती दी है। राज्य सरकार ने 15 सितंबर 2022 को आदेश जारी कंपनी के लाइसेंस को रद्द कर दिया था जबकि 20 सितंबर 2022 को आदेश जारी कर कंपनी को पावडर के निर्माण व बेचने पर रोक लगा दी थी। इन दोनों आदेश को कंपनी ने कोर्ट में चुनौती दी है। याचिका में दावा किया गया है कि कंपनी के पक्ष को सुने बिना नियमों के विपरीत एफडीए की ओर से आदेश जारी किया गया है। इसलिए इसे रद्द किया जाए। मुंबई के मुलुंड इलाके में जॉनसन बेबी पाउडर के उत्पादन की इकाई है। एफडीए ने कोलकाता की प्रयोगशाला में पावडर के नमूनों की जांच के बाद पावडर के बिक्री व वितरण पर रोक लगा दी थी। नमूनों की जांच में पाउडर में बच्चों के लिए हानिकारक तत्व पाए जाने के बाद कंपनी के लाइसेंस रद्द करने का फैसला किया गया था।
Created On :   2 Dec 2022 10:26 PM IST