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चारा छावनी में रहने वाले पशुओं के कान में लगाना होगा टैग, तभी मिलेगा अनुदान
डिजिटल डेस्क, मुंबई। प्रदेश में चारा छावनी चलाने वालों को अब छावनी में मौजूद पशुओं के कान में बारकोड से लैस टैग लगाना पड़ेगा। इसके बाद ही चारा छावनी चालकों को पशुओं के चारे के लिए अनुदान मिल सकेगा। प्रदेश की 1084 चारा छावनियों में फिलहाल 7 लाख 14 हजार 637 पशु हैं। पशुओं को दिए जाने वाले प्रतिदिन के आहार में भी बढ़ोतरी कर दी गई है। सरकार ने चारा छावनी के पशुओं की संख्या की हर दिन जानकारी रखने के लिए एंड्रॉइड आधारित मोबाइल एप के इस्तेमाल को अनिवार्य करने का फैसला किया है। प्रदेश सरकार के राजस्व विभाग ने इस संबंध में शासनादेश जारी किया। चारा छावनी चालकों को पशुओं के कान में बारकोड से लैस टैग लगाने का खर्च खुद वहन करना पड़ेगा। चारा छावनी के पशुओं के पंजीयन और उसके बाद प्रतिदिन पशुओं की संख्या को गिनने के लिए निजी संस्था शौर्य टेक्नोसॉफ्ट प्राइवेट लिमिटेड ने चारा छावनी प्रबंधन प्रणाली तैयार किया है। यह प्रणाली चारा छावनी चालक मुफ्त में इस्तेमाल कर सकेंगे। पुशओं के कान में बारकोड से लैस टैग लगाने संबंधी कार्यवाही पशुधन अधिकारी या फिर विभाग के प्रशिक्षित अधिकारी करेंगे। चारा छावनी चालकों को दिन में एक बार पशुओं के कान में लगे बारकोड से लैस टैग को मोबाइल एप के जरिए स्कैन करना होगा। चारा छावनी प्रबंधन प्रणाली के प्रशिक्षिण, चारा छावनी में पशुओं के पंजीयन और पशुओं का प्रतिदिन पंजीयन संबंधी कार्यवाही 15 मई तक पूरा करना है। इसके बाद चारा छावनी प्रबंधन प्रणाली का इस्तेमाल करना अनिवार्य होगा।
पशुओं के आहर में बढ़ोतरी
राज्य सरकार ने चारा छावनी में मौजूद पशुओं को दिए जाने वाले प्रतिदिन आहार में बढ़ोतरी कर दिया है। इससे चारा छावनी में बड़े पशुओं को प्रतिदिन 15 किलो के बजाय 18 किलो और छोटे पशुओं को 7.5 किलो के ऐवज में 9 किलो चारा मिल सकेगा। सरकार की तरफ से बड़े पशुओं के चारे के लिए 90 रुपए और छोटे पशुओं के चारे के लिए 45 रुपए दिए जाते हैं।
प्रदेश में चारा छावनी और पशुओं की संख्या
विभाग चारा छावनी संख्या पशुओं की संख्या
औरंगाबाद विभाग 664 452613
नाशिक विभाग 397 251952
पुणे विभाग 23 10072
कुल 1084 714637
Created On :   6 May 2019 7:44 PM IST