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शहडोल : जेल प्रहरियों की जेब में मिले गुटखा-तंबाकू, दो सस्पेंड
डिजिटल डेस्क, शहडोल। प्रतिबंध के बावजूद जेल के अंदर गुटखा व तंबाकू ले जाने पर दो प्रहरियों (आरक्षक) को निलंबित कर दिया गया है। आरोपित है कि प्रहरियों द्वारा कैदियों को यह नशीली वस्तएं सप्लाई की जाती हैं। यह कार्रवाई जेल अधीक्षक जीएल नेटी द्वारा की गई है। उन्होंने आरक्षक सुधीर सिंह तथा महेंद्र त्रिपाठी को निलंबित कर दिया है। सुधीर को बैढऩ जेल तथा महेंद्र को उमरिया जेल संबद्ध करते हुए जेलरों को पत्र भेज दिया गया है। जेल अधीक्षक नेटी शनिवार की रात औचक निरीक्षण करने जेल के अंदर पहुंचे। रात 10 से दो बजे की ड्यूटी के लिए दोनों प्रहरी मौजूद थे। अंदर जाने के पूर्व ही जेल अधीक्षक द्वारा दोनों की तलाशी ली गई तो उनके पास गुटखा व तंबाकू मिले। जबकि जेल के भीतर किसी को भी कुछ ले जाने की इजाजत नहीं है। इसकी अनदेखी पर जेल अधीक्षक ने दोनों को सस्पेंड कर दिया।
चेक बाउंस, 6 माह का कारावास
बैंक से लोन लेने के बाद अदायगी के रूप में दिया गया चेक बाउंस होने पर न्यायालय द्वारा ऋण लेने वाले को 6 माह के सश्रम कारावास की सजा सुनाई गई है। न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी विवेक कुमार सिंह शहडोल द्वारा अभियुक्त शिव शंकर मिश्रा निवासी पुरानी बस्ती को धारा 138 में दोषी पाते हुए उक्त सजा के साथ प्रतिकर के रूप में एक लाख आठ हजार रुपए प्रदान करने का निर्णय दिया गया है। प्रतिकर राशि अदा नहीं करने की दशा में एक माह का कठोर कारावास भुगतना पड़ेगा।
प्रकरण के अनुसार शिव शंकर ने बैंक की बलपुरवा स्थित वर्तमान सेंट्रल मप्र ग्रामीण बैंक की शाखा से 16 मई 2008 को 50 हजार का ऋण मय ब्याज अदायगी की शर्त पर लिया था। समय पर ऋण अदायगी नहीं करने पर बैंक की ओर से मय ब्याज 58545 रुपए अदा करने की नोटिस 31 मई 2009 को दिया गया। जिस पर उन्होंने 58500 रुपए का चेक 5 जून 2009 को सेंट्रल बैंक के नाम जारी किया, जो बाउंस हो गया। इसके बाद कई बार नोटिस दी गई, लेकिन राशि जमा नहीं कराने पर बैंक की ओर से न्यायालय में परिवार प्रस्तुत किया गया। बैंक की ओर से अधिवक्ता संतोष कुमार भटनागर एवं नीलेश कुमार शर्मा ने पैरवी की।
Created On :   18 Feb 2019 1:31 PM IST