अनलॉक में जब पूरा देश खुल गया, फिर आर्मी क्यों नहीं खोल रही रिज रोड

Unlocked when the whole country opened, then why is the army not opening Ridge Road
अनलॉक में जब पूरा देश खुल गया, फिर आर्मी क्यों नहीं खोल रही रिज रोड
अनलॉक में जब पूरा देश खुल गया, फिर आर्मी क्यों नहीं खोल रही रिज रोड

हाईकोर्ट में याचिकाकर्ताओं की दलील, अगली सुनवाई 12 अक्टूबर को
डिजिटल डेस्क जबलपुर ।
मप्र हाईकोर्ट में मंगलवार को याचिकाकर्ताओं के अधिवक्ता की ओर से दलील दी गई कि अनलॉक के बाद पूरे देश को खोल दिया गया है, इसके बाद भी आर्मी रिज रोड को नहीं खोल रही है, जबकि रिज रोड के दूसरे सिरे पर स्थित मानिक शॉ गेट को खोलकर रखा गया है। चीफ जस्टिस अजय कुमार मित्तल और जस्टिस राजीव कुमार दुबे की डिवीजन बैंच ने मामले की अगली सुनवाई 12 अक्टूबर को नियत की  है। 
रिज रोड निवासी अनिल साहनी और दीपक ग्रोवर की ओर से दायर जनहित याचिका में कहा गया है कि कोरोना संक्रमण के चलते आर्मी ने 20 मार्च को रिज रोड को बंद कर दिया। रिज रोड पर बीएसएनएल ट्रेनिंग सेन्टर, दो पुराने चर्च, धर्मशास्त्र नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी के साथ रिहायशी इलाके हैं। रिज रोड बंद होने से स्थानीय निवासियों, छात्रों और शासकीय कर्मियों को आने-जाने में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता आदित्य संघी ने तर्क दिया कि केन्ट बोर्ड ने अपने जवाब में बताया है कि रिज रोड के मेंटेनेंस पर केन्ट बोर्ड ने 1 करोड़ 11 लाख रुपए खर्च किए हैं। इसके बाद भी आर्मी द्वारा अनलॉक में भी रिज रोड को नहीं खोला जा रहा है। सुनवाई के बाद डिवीजन बैंच ने मामले की अगली सुनवाई 12 अक्टूबर तक के लिए बढ़ा दी है। केन्द्र सरकार की ओर से असिस्टेंट सॉलिसिटर जनरल जेके जैन उपस्थित हुए। 
 

Created On :   23 Sep 2020 8:14 AM GMT

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