Fake News: UP पुलिस ने हाथरस पीड़िता के घर में घुसकर महिलाओं से बदसलूकी कर कागजात जब्त किए?, जानें क्या है वायरल वीडियो का सच

Fake News: up police barge into the hathras victims house and seize the papers?
Fake News: UP पुलिस ने हाथरस पीड़िता के घर में घुसकर महिलाओं से बदसलूकी कर कागजात जब्त किए?, जानें क्या है वायरल वीडियो का सच
Fake News: UP पुलिस ने हाथरस पीड़िता के घर में घुसकर महिलाओं से बदसलूकी कर कागजात जब्त किए?, जानें क्या है वायरल वीडियो का सच

डिजिटल डेस्क। सोशल मीडिया पर हाथरस से जुड़ा एक वीडियो वायरल हो रहा है। इस वायरल वीडियो में पुलिस कर्मचारी एक घर में घुसकर कागज जब्त करके ले जाते हुए दिखाई दे रहे हैं। इस वीडियो के साथ यह दावा किया जा रहा है कि वीडियो हाथरस का है और इसमें दिख रही पुलिस 19 वर्षीय मृतक पीड़ित के घर में घुस कर बर्बरता कर रही है।

किसने किया शेयर?
कई ट्विटर और फेसबुक यूजर ने वीडियो शेयर कर यही दावा किया है। 

क्या है सच?
भास्कर हिंदी की टीम ने पड़ताल में पाया कि, सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो के साथ किया जा रहा दावा गलत है। हमें इंटरनेट पर हमें ऐसी कोई खबर नहीं मिली। जिससे पुष्टि होती हो कि यूपी पुलिस ने हाथरस पीड़ित के घर में घुसकर छानबीन की है। Patrika Uttar Pradesh के यूट्यूब चैनल पर भी हमें यही वीडियो मिला। वीडियो के डिस्क्रिप्शन से पुष्टि होती है कि ये हाथरस का नहीं बल्कि उत्तरप्रदेश के सफीपुर थाना क्षेत्र का है। सफीपुर थाना उन्नाव जिले में आता है, न कि हाथरस में।

पत्रिका वेबसाइट की ही एक अन्य रिपोर्ट से पता चलता है कि, उन्नाव में पुलिस दलित परिवार के घर पर चौकी बनाना चाहती थी। परिवार जब कोर्ट से इस मामले में स्टे लेकर आ गया। तब गुस्साई पुलिस ने घर में घुसकर दस्तावेज जब्त कर लिए और महिलाओं से बदसलूकी की थी। इन सबसे स्पष्ट है कि, यूपी के ही उन्नाव में पुलिस और दलित परिवार के बीच चल रहे जमीनी विवाद के वीडियो को गलत दावे के साथ हाथरस का बताकर शेयर किया जा रहा है।

निष्कर्ष : सोशल मीडिया पर किया जा रहा दावा गलत है। दरअसल, यूपी के ही उन्नाव में पुलिस और दलित परिवार के बीच चल रहे जमीनी विवाद के वीडियो को गलत दावे के साथ हाथरस का बताकर शेयर किया जा रहा है।

 

 

Created On :   10 Oct 2020 9:07 AM GMT

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