कोविड-19 के 5 करोड़ मामलों के बीच फिर से शुरू हुई विश्व स्वास्थ्य महासभा

World Health General Assembly resumes amid 5 crore cases of Kovid-19
कोविड-19 के 5 करोड़ मामलों के बीच फिर से शुरू हुई विश्व स्वास्थ्य महासभा
कोविड-19 के 5 करोड़ मामलों के बीच फिर से शुरू हुई विश्व स्वास्थ्य महासभा
हाईलाइट
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जिनेवा, 10 नवंबर (आईएएनएस)। 73 वीं विश्व स्वास्थ्य महासभा फिर से शुरू हो गई है, यहां प्रतिभागी कोविड महामारी समेत ऐसे ही दबाव वाले वैश्विक स्वास्थ्य मुद्दों और आपात स्थितियों के बारे में बात करेंगे। कोविड से अब 12 लाख से ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है और 5 करोड़ से ज्यादा लोग संक्रमित हो चुके हैं।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) का निर्णय लेने वाला निकाय, विश्व स्वास्थ्य महासभा का 6 दिवसीय सत्र सोमवार से शुरू हुआ है। मई में 2 दिन चले वर्चुअल इवेंट की तरह इस बार भी यह वर्चुअली ही हो रहा है।

डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक ट्रेडोस एडहोम घेब्रेयसिस ने महामारी के मद्देनजर वैश्विक एकजुटता की अपील करते हुए कहा, ना हम इससे समझौता कर सकते हैं, ना अपनी आंखें बंद करके आशा कर सकते हैं कि यह खत्म हो जाएगी। हमारी एकमात्र आशा- विज्ञान, समाधान और एकजुटता है।

ट्रेडोस ने कहा कि सभी मामलों और मौतों में से आधे सिर्फ 4 देशों - अमेरिका, भारत, ब्राजील और रूस के हैं। अमेरिका वर्तमान में दुनिया का सबसे ज्यादा प्रभावित देश है, जहां 1,00,51,722 मामले और 2,38,201 मौतें दर्ज हुईं हैं।

ट्रेडोस ने कहा कि कोविड दुनिया में एक मात्र आपातकाल जैसी स्थिति नहीं है।

उन्होंने इस वर्ष अन्य स्वास्थ्य आपात स्थितियों का हवाला दिया, जिनमें चाड में चिकनगुनिया का प्रमुख प्रकोप शामिल है। इसके अलावा गैबॉन और टोगो में पीला बुखार, और मेक्सिको में खसरा है।

ट्रेडोस ने कहा, डब्ल्यूएचओ 2023 तक ट्रिपल बिलियन लक्ष्यों को पाने के लिए अपनी कार्य योजनाओं को लागू करना जारी रखेगा, ताकि एक अरब लोगों को स्वास्थ्य आपात स्थितियों से सुरक्षित बना सके, एक अरब से अधिक लोगों को यूनिवर्सल हेल्थ कवरेज दे सके और एक अरब से अधिक लोगों को बेहतर स्वास्थ्य का आनंद लेते हुए देख सके। इन लक्ष्यों को पाने के लिए संगठन बड़े पैमाने पर सुधार करने के अपडेट जारी करेगा, इसे ट्रेडोस ने डब्ल्यूएचओ के इतिहास में सबसे बड़ा परिवर्तन कहा है।

उन्होंने आगे कहा, महामारी को नियंत्रित करने के लिए टीके की तत्काल आवश्यकता है। लेकिन गरीबी, भूख, जलवायु परिवर्तन या असमानता के लिए कोई टीका नहीं है। इन्हें हमें खुद मिटाना होगा। यह सहयोग के एक नए युग का निर्माण करने का समय है, जो स्वास्थ्य और कल्याण को हमारे सामान्य भविष्य के केंद्र में रखता है।

एसडीजे-एसकेपी

Created On :   10 Nov 2020 6:31 AM GMT

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