ओडिशा के वकीलों के हंगामे पर सुप्रीम कोर्ट की चेतावनी : अर्धसैनिक बल भेजेंगे..

Supreme Courts warning on the uproar by Odisha lawyers: Will send paramilitary forces..
ओडिशा के वकीलों के हंगामे पर सुप्रीम कोर्ट की चेतावनी : अर्धसैनिक बल भेजेंगे..
अदालती कार्यवाही बाधित ओडिशा के वकीलों के हंगामे पर सुप्रीम कोर्ट की चेतावनी : अर्धसैनिक बल भेजेंगे..
हाईलाइट
  • अदालती कार्यवाही में व्यवधान की अनुमति नहीं

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को मौखिक रूप से कहा कि अगर ओडिशा पुलिस राज्य के कुछ जिलों की अदालतों में तोड़फोड़ और अदालती कार्यवाही बाधित करने के संबंध में स्थिति को नियंत्रित करने में विफल रहती है तो वह अर्धसैनिक बल भेजेगा।

जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस अभय एस. ओका की पीठ ने ओडिशा के पुलिस महानिदेशक और संबलपुर के पुलिस महानिरीक्षक को वर्चुअली पेश करते हुए कहा कि अगर पुलिस स्थिति को नियंत्रित नहीं कर पाती है तो अदालत हालात से निपटने के लिए वहां अर्धसैनिक बल भेजेगी। पीठ ने यह भी कहा कि वह बार के सदस्यों सहित ओडिशा के कुछ जिलों में अदालतों में तोड़फोड़ करने और कार्यवाही बाधित करने वालों पर भी कड़ी कार्रवाई करेगी।

बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) ने शीर्ष अदालत को सूचित किया कि उसने संबलपुर जिला बार एसोसिएशन के 43 आंदोलनकारी अधिवक्ताओं को बर्बरता में उनकी कथित संलिप्तता के लिए निलंबित कर दिया है। शीर्ष अदालत ने कहा कि हिंसा में शामिल लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की जानी चाहिए और उनके खिलाफ मुकदमा चलाया जाना चाहिए। शीर्ष अदालत ने कहा, हम बहुत मुश्किल से नरम होने वाले हैं और बेहद कठोर कदम उठाएंगे।

पुलिस अधिकारियों ने पीठ को बताया कि जिला अदालत के आसपास त्रिस्तरीय सुरक्षा व्यवस्था की गई है और शीर्ष अदालत के अंतिम आदेश के बाद 15 प्लाटून पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है। इस जवाब से संतुष्ट न होते हुए पीठ ने कहा कि अगर पुलिस स्थिति को नियंत्रित नहीं कर सकती है, तो उसे अर्धसैनिक बल मिलेंगे। डीजीपी ने कोर्ट को बताया कि स्थिति अब नियंत्रण में है।

सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि पश्चिमी ओडिशा में हाईकोर्ट की स्थायी पीठ स्थापित करने की मांग प्रतिष्ठा का प्रश्न बन गई है। पीठ ने कहा कि अगर कुछ संभावना भी थी, तो वकीलों के आचरण के कारण अब वह खत्म हो गई है। डीजीपी और आईजी ने अदालत को आश्वासन दिया कि किसी भी तरह से अदालती कार्यवाही में व्यवधान की अनुमति नहीं दी जाएगी। शीर्ष अदालत ने मामले की अगली सुनवाई फरवरी में निर्धारित की है।

 

आईएएनएस

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Created On :   15 Dec 2022 12:00 AM IST

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