ममता के हरित पटाखा क्लस्टर प्रस्ताव पर पर्यावरणविदों की भौंहें तनीं
उन्होंने कहा, हालांकि, डब्ल्यूबीपीसीबी ने राज्य में पटाखों के लिए ध्वनि सीमा 90 डेसिबल निर्धारित की है। ऐसी स्थिति में सवाल यह है कि क्लस्टर कैसे बनाया जाए जो निर्धारित ध्वनि डेसिबल सीमा के भीतर ग्रीन पटाखों का निर्माण सुनिश्चित करेगा। पिछले साल अक्टूबर में डब्ल्यूबीपीसीबी के अधिकारियों के एक वर्ग ने भी राज्य के बाहर से आने वाले हरे पटाखों पर पश्चिम बंगाल में निर्धारित ध्वनि डेसिबल सीमा से अधिक शोर होने की आशंका जताई थी। घोष जैसे पर्यावरणविद् स्वीकार करते हैं कि अक्सर पटाखों से संबंधित उत्सर्जन के मुद्दों पर ध्वनि सीमा मानदंडों को बनाए रखने से संबंधित प्रवर्तन की उपेक्षा की जाती है।
मुख्यमंत्री ने हरित पटाखा क्लस्टर की घोषणा तब की है, जब पिछले दो हफ्तों के दौरान राज्य के विभिन्न हिस्सों में अवैध पटाखा इकाइयों में सिलसिलेवार विस्फोट हुए, जिसमें 20 लोगों की मौत हो गई। सबसे बड़ा हादसा पूर्वी मिदनापुर जिले के एगरा में 16 मई को हुआ था, जिसमें 12 लोगों की मौत हो गई थी। मरने वालों में अवैध पटाखा बनाने वाली फैक्ट्री का मालिक भी शामिल था।
आईएएनएस
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Created On :   27 May 2023 1:45 PM GMT