बॉम्बे हाईकोर्ट: बिल्डर पर एक लाख का जुर्माना - पुनर्वास टेनमेंट के अनधिकृत आवंटन का आरोप

बिल्डर पर एक लाख का जुर्माना - पुनर्वास टेनमेंट के अनधिकृत आवंटन का आरोप
  • लॉटरी-आधारित आवंटन प्रक्रिया दरकिनार की
  • पुनर्वास टेनमेंट (घर) के अनधिकृत आवंटन का आरोप लगा

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बॉम्बे हाईकोर्ट ने एक बिल्डर पर लॉटरी-आधारित आवंटन प्रक्रिया को दरकिनार कर पुनर्वास टेनमेंट (घर) के अनधिकृत आवंटन को लेकर एक लाख रुपए का जुर्माना लगाया है। बिल्डर सहकारी समितियों के सहायक रजिस्ट्रार और स्लम पुनर्विकास प्राधिकरण (एसआरए) के प्रतिनिधि की उपस्थिति में लॉटरी प्रक्रिया आयोजित किए बिना बिल्डर ने एकतरफा पुनर्वास टेनमेंट (घर) आवंटित कर दिया था।

न्यायमूर्ति संदीप वी.मार्ने की एकल पीठ के समक्ष गोपाल और शेखर वनवे की याचिका पर सुनवाई हुई। याचिकाकर्ताओं ने याचिका में एसआरए द्वारा उनके टेनमेंट (घर) के आवंटन को अवैध घोषित करने को चुनौती दी थी। पीठ ने कहा कि पुनर्वास टेनमेंट (घर) का आवंटन एसआएए के सहायक रजिस्ट्रार के प्रतिनिधि की उपस्थिति में लॉटरी प्रणाली के माध्यम से किया जाना चाहिए।

2021 में लॉटरी-आधारित आवंटन की मांग करने वाले बिल्डर के प्रस्ताव से संकेत मिलता है कि उसे अपने अधिकार की कमी के बारे में पता था। बिल्डर ने याचिकाकर्ताओं को एकतरफा तौर पर टेनमेंट का कब्जा दे दिया।

पीठ ने उनकी याचिका को खारिज करते हुए बिल्डर को एक लाख रुपए का जुर्माना लगाया। यह मामला कुर्ला में एसआरए द्वारा शुरू की गई झुग्गी पुनर्वास योजना से जुड़ा है। पुनर्वास भवन में 438 पात्र झुग्गीवासियों को समायोजित करने के बाद बिल्डर के पास चार खाली पुनर्वास टेनमेंट (घर) थे। जबकि 21 पात्र झोपड़ावासी अपने आवंटन की प्रतीक्षा कर रहे थे। याचिकाकर्ता को पात्र होने के बावजूद पुनर्वास किराये की आवंटन प्रक्रिया से बाहर रखा गया था।

Created On :   30 Jan 2024 4:57 PM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story