- Home
- /
- राज्य
- /
- महाराष्ट्र
- /
- नागपुर
- /
- मनपा 22वें नंबर पर, .दावे के बाद...
Nagpur News: मनपा 22वें नंबर पर, .दावे के बाद स्वच्छता रैंकिंग में हुआ सुधार

- राज्य के 414 यूएलबी में उपराजधानी को 25वां स्थान मिला है
- 27वां स्थान था , केंद्र ने आपत्ति पर लिया संज्ञान
Nagpur News नागपुर महानगरपालिका और शहरवासियों के लिए एक खुशखबर। स्वच्छता रैंकिंग में पिछड़ने के बाद नागपुर महानगरपालिका की सुधारित रैंकिंग जारी की गई। इस रैंकिंग में नागपुर महानगरपालिका को ‘22-ए’ रैंकिंग मिली। सर्वेक्षण में महानगरपालिका को 10 लाख से अधिक आबादी वाले शहर में 22-ए क्रमांक (रैंक) और राज्य के 414 यूएलबी में उपराजधानी को 25वां स्थान मिला है। ‘22-ए’ इसलिए कि नाशिक मनपा की 22वीं रैंकिंग है। यह सुधार मनपा प्रशासन की आपत्ति के बाद हुआ। मनपा प्रशासन ने केंद्र सरकार के पास स्वच्छता रैंकिंग को लेकर अपनी आपत्ति दर्ज कराई थी। इस आपत्ति को केंद्र सरकार ने गंभीरता से लिया और अपनी टीम के अांकलन में चूक मान्य कर नागपुर महानगरपालिका को सुधारित रैंकिंग जारी की।
इस पर जताई थी आपत्ति : स्वच्छता रैंकिंग को लेकर मनपा सहित जानकारों में हैरानी थी। आखिरकार केंद्र सरकार के पास आपत्ति दर्ज करने का निर्णय लिया गया। डॉ. अभिजीत चौधरी ने केंद्रीय गृहनिर्माण व शहरी व्यवहार मंत्रालय के पास आपत्ति दर्ज कराई। इसके बाद घर-घर कचरा संकलन, कचरा व्यवस्थापन, बैकलेन स्वच्छता, सीएन्डडी वेस्ट, बायोमाइनिंग, कॉम्प्रेस्ड बायो गॅस प्रकल्प का पुर्नमूल्यांकन किया गया। फिलहाल मनपा द्वारा एक तारीख एक घंटा, आरआरआर सेंटर, स्वच्छ मोहल्ला स्पर्धा, स्वच्छ बाजार, इको ब्रिक्स समेत स्कूलों में जनजागृति की जा रही है। नागरिकों से सहयोग करने का आह्वान करते हुए मनपा आयुक्त ने स्वच्छ सर्वेक्षण में टॉप टेन शहरों में लाने के लिए प्रयास करने की जानकारी दी है।
फायदा : डोर टू डोर सेग्रीगेशन में अंक बढ़े : इससे पहले जारी स्वच्छता रैंकिंग में मनपा को 27वां नंबर दिया गया था। इस रैंकिंग में पिछड़ने के दो बड़े कारण थे। पहला-डोर टू डोर कलेक्शन में मनपा को सिर्फ 30 प्रतिशत अंक मिले थी। दूसरा-कचरा अलगीकरण (सेग्रीगेशन) में सिर्फ 1 प्रतिशत अंक दिए थे। आपत्ति के बाद दोनों में सुधार हुआ। सुधारित रैंकिंग में डोर टू डोर कलेक्शन में 30 से बढ़कर अब मनपा को 90 प्रतिशत और कचरा अलगीकरण में 1 प्रतिशत से बढ़कर 60 प्रतिशत अंक मिले। इसके अलावा कचरे पर प्रक्रिया में मनपा के अंक घटे हैं। पहले 100 प्रतिशत अंक थे, अब 60 प्रतिशत अंक दिए गए। इसके साथ ही जीएफसी स्टार रेटिंग में 1 स्टार और ओडीएफ सर्टिफिकेट में वाटर प्लस प्रमाणपत्र मिला है। फिलहाल मनपा आयुक्त तथा प्रशासक डॉ. अभिजीत चौधरी के नेतृत्व में अतिरिक्त आयुक्त वसुमना पंत के मार्गदर्शन में विविध जनोपयोगी उपक्रम संचालित हो रहे हैं। स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत विविध मानकों में आधारित मूल्यांकन में शहर की रैंकिंग में उल्लेखनीय सुधार हुआ है।
संदेहास्पद थे अंक : नागपुर को मिले अंक पर पहले से ही संदेहास्पद थे। डोर टू डोर कलेक्शन में 30% एवं सोर्स सेग्रीगेशन में 1% आश्चर्यजनक था। इन्हीं दोनों मापदंडों में अंक बढ़ कर 90% एवं 60% हुए, जिसके कारण हमें जीएफसी सर्टिफिकेशन में 500 अंक मिले, जिसमें पहले शून्य मिला था। इस उपलब्धि के लिए सभी को बधाई। -कौस्तभ चटर्जी, ब्रांड एंबेसडर, स्वच्छता एंबेसडर
Created On :   7 Aug 2025 11:47 AM IST