Nagpur News: अव्यवस्था का आलाम - भीषण धूप में खुले आसमान के नीचे घंटों खड़े रहने मजबूर मुसाफिर

अव्यवस्था का आलाम - भीषण धूप में खुले आसमान के नीचे घंटों खड़े रहने मजबूर मुसाफिर
  • राज भवन बस स्थानक पर नहीं रुकती बस, यात्री बेबस
  • बस स्थानक बना सिर्फ सूचना केंद्र

Nagpur News : भास्कर संवाददाता| नागपुर. शहर का राज भवन बस स्थानक बीते 3–4 वर्षों से उपेक्षा का शिकार है। बस स्टॉप के रूप में नाम दर्ज होने के बावजूद यहां बसों का रुकना लगभग बंद हो चुका है। फलस्वरूप यात्री हर दिन भीषण धूप में खुले आसमान के नीचे घंटों खड़े रहने मजबूर हैं। इससे उनका शारीरिक व मानसिक कष्ट बढ़ना लाजमी है। वहीं बस स्थानक के सामने बना फुटपाथ बसों की आवाजाही में बाधक साबित हो रहा है। नतीजतन लंबी बसें अब संकुचित एंट्री गेट से मुड़ ही नहीं पातीं। और तो और बस स्टॉप के बाहर लोग यह सोचकर खड़े होते हैं कि यहां से उन्हें गंतव्य के लिए बस मिल जाएगी। लेकिन अधिकतर समय उन्हें निराशा ही हाथ लगती है।

बस स्थानक बना सिर्फ सूचना केंद्र

बस स्थानक पर तैनात कर्मचारी ने बताया कि यहां अब बसें रुकती नहीं हैं, छात्र पास बनवाने और अन्य जानकारी के लिए आते-जाते हैं। फुटपाथ के कारण बस स्थानक के अंदर नहीं आ पातीं, बस संचालक मार्ग बदल चुके हैं और राज भवन बस स्थानक अब आंशिक रूप से पास एवं सूचना केंद्र में तब्दील हो चुका है।

कॉलेज आना कम कर दिया

अरशद शेख के मुताबिक यहां से आने-जाने वाली बसें अब बहुत ही सीमित हो गई हैं। इसी कारण मैंने कॉलेज आना कम कर दिया है। कॉलेज पहुंचने के लिए 3 से 5 घंटे का समय सिर्फ बस का इंतजार करने और धूप में खड़े रहने में निकल जाता है। देर तक तेज धूप में खड़े रहने के कारण सेहत भी बिगड़ जाती है।

बच्चों के साथ तेज धूप में इंतजार

विकास भांगे के मुताबिक हम पिछले दो घंटे से बच्चों के साथ तेज धूप में बस का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन अब तक कोई बस नहीं आई। हमें रामाकोणा जाना था, पर दिन में केवल दो ही बसें होती हैं, और अब वो भी निकल चुकी हैं। बस स्थानक होने के बावजूद चालक ने यहां बस रोकने की जहमत नहीं उठाई।

अधिकारी से की शिकायत

कुसुम भांगे के मुताबिक हम गरीब लोग हैं, और महिलाओं को शासकीय बसों में आधी टिकट मिलती है, इसलिए हम बस से ही सफर करते हैं। लेकिन अब बसें इस स्थानक पर रुकती ही नहीं। मैंने इस बारे में यहां मौजूद अधिकारी से शिकायत की, पर उनके हाथ में भी कुछ नहीं है।

फुटपाथ के आगे जमा रहता है पानी

अर्चना देवतले के मुताबिक कोरोना काल से पहले बसें इस स्थानक के अंदर रुकती थीं, लेकिन अब बस स्थानक के सामने फुटपाथ बन गया है, जिसके कारण बसें अंदर आ ही नहीं पातीं। इससे नागरिकों को मजबूरी में धूप और बारिश में बाहर खड़ा रहना पड़ता है। लेकिन प्रशासन इस ओर ध्यान नहीं दे रहा।

बसों की फेरियां हुईं कम

प्रणय ताजणे के मुताबिक मैं सावनेर की बस के इंतजार में पिछले 15 मिनट से यहां खड़ा हूं। पहले यहां कई बसें आती थीं, लेकिन जब से यह फुटपाथ बना है, बसों की फेरियां भी बहुत कम हो गई हैं। अब हमें रोजाना तेज धूप में खड़े होकर बस का इंतजार करना पड़ता है।

स्थानीय नागरिकों ने कहा : गेट चौड़े हों

स्थानीय लोगों ने समस्या के स्थायी समाधान की मांग की है। उनका कहना है कि प्रवेश और निर्गमन द्वार चौड़े किए जाएं, फुटपाथ को हटाया जाए और टूटे ढलान की मरम्मत कराई जाए। बिजली के खंभे को स्थानांतरित कर बसों की आवाजाही सुगम बनाई जाए।

प्रशासन की नाकामी उजागर

जहां एक ओर नागपुर में स्मार्ट सिटी जैसी परियोजनाएं जोर-शोर से चल रही हैं, वहीं राज भवन बस स्थानक की बदहाली प्रशासन की उपेक्षा को उजागर करती है।

Created On :   18 May 2025 6:18 PM IST

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