Parliament Winter Session 2025: 'तकलीफ है तो डॉक्टर के पास जाइए...', राज्यसभा में खरगे की किस बात पर नड्डा ने दी ये नसीहत, जानें

तकलीफ है तो डॉक्टर के पास जाइए..., राज्यसभा में खरगे की किस बात पर नड्डा ने दी ये नसीहत, जानें
संसद के शीतकालीन सत्र 2025 के पहले दिन यानी आज (सोमवार, 1 दिसंबर) सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच तीखी बहस हुई। राज्यसभा में उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के अचानक इस्तीफे के मुद्दे पर नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और जेपी नड्डा आमने सामने आ गए।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। संसद के शीतकालीन सत्र 2025 के पहले दिन यानी आज (सोमवार, 1 दिसंबर) सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच तीखी बहस हुई। राज्यसभा में उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के अचानक इस्तीफे के मुद्दे पर नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और जेपी नड्डा आमने सामने आ गए। इस दौरान नड्डा ने खरगे पर हमला बोलते हुए उन्हें डॉक्टर के पास जाने की सलाह दी। दरअसल, राज्यसभा के सभापति सीपी राधाकृष्णन के स्वागत भाषण में खरगे ने जगदीप धनखड़ के अचानक इस्तीफा का मुद्दा उठाया था।

जगदीप धनखड़ के इस्त बयान पर जेपी नड्डा का हमला

बीजेपी सांसदों के हंगामे के बीच खरगे ने कहा, "मुझे उम्मीद है कि आप बुरा नहीं मानेंगे कि मुझे इससे पहले सदन के सभापति के पद से अचानक इस्तीफे का जिक्र करने के लिए बाध्य होना पड़ रहा है। पूरे सदन के संरक्षक होने के नाते सभापति सरकार के साथ-साथ विपक्ष के लिए भी उतने ही महत्वपूर्ण हैं। मुझे इस बात का दुख है कि सदन को उन्हें विदाई देने का अवसर नहीं मिला। पूरे विपक्ष की ओर से उनके स्वस्थ जीवन की कामना करता हूं।"

खरगे के इस बयान पर जेपी नड्डा ने हमला बोला। उन्होंने नेता प्रतिपक्ष के बयान को विषय से अलग हटकर बताया। जेपी नड्डा ने कहा, "हमें स्वागत समारोह की गरिमा बनाए रखनी चाहिए। अगर ऐसा होगा तो हमारी ओर से भी चर्चा होगी कि उनके (धनखड़) खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव दो-दो बार लाए। मुझे लगता है कि हमारे विपक्ष के नेता बहुत सम्माननीय हैं। बिहार, हरियाणा और महाराष्ट्र में हार से आपको काफी तकलीफ हुई है। तकलीफ को डॉक्टर के सामने बोलना चाहिए। जब समय आएगा तो अपनी तकलीफ डॉक्टर के सामने बोलिएगा।"

मानसून सत्र के पहले जगदीप धनखड़ ने दिया था इस्तीफा

बता दें, इस साल मानसून सत्र के पहले दिन पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अपने पद से इस्तीफा सौंप दिया था। धनखड़ के अचनाक इस्तीफ के बाद सियासी गलियारों में हलचल तेज हो गई थी। अपने इस्तीफे के पीछे धनखड़ ने खराब स्वास्थ्य का हवाला दिया था। खरगे ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 67 (ए) का हवाला देते हुए स्वास्थ्य संबंधी मुद्दों और चिकित्सा सलाह का पालन करने की आवश्यकता पर जोर देते हुए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को अपना इस्तीफा सौंपा था।

Created On :   1 Dec 2025 7:20 PM IST

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