मप्र कांग्रेस के नव निर्वाचित जिला अध्यक्षों की ट्रेनिंग: हारे सरपंचों को एकजुट कर प्रदेश में ग्रास रूट मजबूत करेगी कांग्रेस

हारे सरपंचों को एकजुट कर प्रदेश में ग्रास रूट मजबूत करेगी कांग्रेस
  • मजबूत बनने की तैयारी में जुटी कांग्रेस
  • 6 महीने में जिला अध्यक्षों को करना होगा साबित
  • राहुल करेंगे जिला अध्यक्षों से संवाद

डिजिटल डेस्क, भोपाल। मप्र कांग्रेस के 71 नव निर्वाचित जिला अध्यक्षों का प्रशिक्षण 24 अगस्त को दिल्ली में होगा। राहुल गांधी और राष्ट्रीय अध्यक्ष जिला अध्यक्षों को संबोधित करेंगे। इस दौरान हर जिले में अध्यक्षों की भूमिका , उनके कार्य और आगे की रणनीति पर चर्चा होगी। जिला अध्यक्षों को लेकर भोपाल सहित कई जगहों पर आक्रोश है। इस पर सफाई देते हुए पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने चयन की प्रक्रिया को पूरी तरह केंद्रित बताया था। लेकिन अब जिला अध्यक्षों को खुद को पद के अनुरूप साबित करना होगा। गुजरात मॉडल की ही तरह यहां भी जिला अध्यक्षों की परीक्षा होनी है। इसके लिए जिला अध्यक्षों को 6 महीने का वक्त दिया गया है। इस दौरान कांग्रेस पार्टी ने कई महत्वपूर्ण कार्य जिला अध्यक्षों को दिया है। जिला अध्यक्ष 6 महीने के अंदर ग्राम पंचायत , वार्ड , ब्लॉक स्तर और सेक्टर स्तर पर कमेटी बनाएंगे। ग्रास रूट को मजबूत करेंगे। जातीय और क्षेत्रीय समीकरण को साधने का काम होगा। अगर जिला अध्यक्ष इसमें सफल नहीं हुए तो पद वापस भी लिया जा सकता है।

नाराज लोगों को कांग्रेस करेगी मदद

कांग्रेस जिला अध्यक्षों के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में अपनी पैठ को फिर मजबूत करना चाहती है। इसके लिए प्रदेश में हारे हुए सरपंचों को एकजुट कर अपने साथ जोड़ने का प्रयास किया जाएगा। जो सरपंच का चुनाव नहीं जीता , जिसको प्रताड़ित किया जा रहा या फिर सरकार से नाराज है उसको साथ जोड़ा जाएगा। एक ढांचा तैयार किया जा रहा है जिसमें कांग्रेस के मुद्दों को उठाया जा सके। उसके साथ ही बीएलए के माध्यम से चुनाव की तैयारी शुरू की जाएगी। हर घर पर बीएलए जाकर मतदाताओं के डेटा की भी जानकारी लेंगे। यह जरूरी इसलिए है क्योंकि कांग्रेस के राष्ट्रीय नेतृत्व ने वोट चोरी का आरोप भाजपा और चुनाव आयोग पर लगाया है। यह मुद्दा एमपी चुनाव के समय भी गूंजने वाला है। बहरहाल कांग्रेस ने भी भाजपा की तर्ज पर अपने बड़े नेताओं को जिला अध्यक्ष की कमान दी है। भाजपा ने विधानसभा चुनाव में सांसद उतारे तो का कांग्रेस ने जिला मजबूत करने पूर्व मंत्री, विधायक, पूर्व विधायकों को जिला अध्यक्ष बनाकर विधानसभाओं को मजबूत करेगी। जिला अध्यक्ष इसलिए भी महत्वपूर्ण हैं क्योंकि विधानसभा चुनाव के दौरान टिकिट वितरण में इनकी अहम भूमिका रहने वाली है। कांग्रेस अपनी खोई हुई जमीन वापस लाने के लिए कार्यकर्ताओं पर फोकस कर रही है। पिछले कुछ वर्षों में कांग्रेस में सक्रिय जमीनी कार्यकर्त्ता बेहद कम हो गए हैं। अब कार्यकर्ताओं को जोड़ने और उनमें विश्वास पैदा करने की जिम्मेदारी जिला अध्यक्षों की होगी।

Created On :   22 Aug 2025 3:00 PM IST

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