- Home
- /
- राज्य
- /
- महाराष्ट्र
- /
- चंद्रपुर
- /
- सीडीसी बैंक पद भर्ती मामला, कुछ...
Chandrapur News: सीडीसी बैंक पद भर्ती मामला, कुछ संचालकों को एसआईटी ने भिजवाए नोटिस

- जांच के लिए गठित एसआईटी ने शुरू किया कार्य
- बैंक में हुई नौकर भर्ती की जांच हो रही
Chandrapur News चंद्रपुर जिला मध्यवर्ती सहकारी बैंक के चुनाव में रोज सामने आनेवाले नाटकीय मोड़ के बीच इस वर्ष बैंक में हुई नौकर भर्ती की जांच के लिए गठित एसआईटी ने जांच शुरू कर सहकार विभाग से इस संबंध में प्राथमिक जानकारी मांगी है, जिससे नौकर भर्ती प्रक्रिया में हाथ धोनेवाले संबंधित संचालकों में हड़कंप मच गया है। चर्चा है कि, संबंधित कुछ संचालकों को नोटिस भी गए हंै। इसकी अधिकृत जानकारी नही मिल पायी है। इस संबंध में एसआईटी का नेतृत्व करनेवाले एसडीपीओ सुधाकर यादव ने दैनिक भास्कर को बताया कि, पिछले सप्ताह 5 सदस्यीय एसआईटी गठित की है। नौकर भर्ती संबंध में हमने नागपुर विभागीय सहनिबंधक से प्राथमिक जानकारी मांगी है। हमारे तरफ से फिलहाल किसी को नोटिस नहीं गए हैं। मामले की जांच शुरू है।
गौरतलब है कि, सीडीसीसी बैंक के 360 पदों के नौकर भर्ती में नियमों को दरकिनार कर बड़े पैमाने पर आर्थिक लेनदेन कर और पिछड़ावर्ग का आरक्षण हटाकर नौकर भर्ती जनवरी 2025 में लेने का आरोप लगे हैं। विरोध प्रदर्शन व कई दिनों तक आंदोलन हुआ। एक दर्जन से अधिक विविध पार्टियों के नेता, सामाजिक कार्यकर्ताओं ने उपर तक शिकायतंे की जिसके बाद सीएम ने एसआईटी गठित करने का आश्वासन दिया था। ऐसे में ऐन बैंक चुनाव के मुंहाने एसआईटी गठित हुई। लेकिन चुनाव में सहकार विभाग व्यस्त होने के चलते जांच शुरू नहीं की। चुनाव के बाद एसआईटी ने जांच शुरू की।
इस बीच एक दिन पहले मंगलवार को बैंक के संचालक व शिवसेना युबीटी के जिलाध्यक्ष रहे रवींद्र शिंदे ने भाजपा का दामन थामा। एसआईटी के हाथ न पहुंचे, इसके लिए उन्हांेने भाजपा का दामन थामने की चर्चा है। बताया जाता है कि, शिंदे के भाजपा प्रवेश के पूर्व नागपुर में विधायक बंटी भांगडिया के घर में भाजपा व कुछ कांग्रेस समर्थक संचालकों की एक महत्वपूर्ण बैठक हुई। नौकर भर्ती का कथित गैरव्यवहार व विशेष जांच टीम की जांच की गंभीरता संचालकों तक पहुंचाई गई। नौकर भर्ती में प्रत्यक्ष रूप से शामिल संचालकों ने इसी का फायदा लेकर शिंदे को समझाया और भाजपा में प्रवेश के लिए तैयार किया। अध्यक्ष बनना है तो पार्टी प्रवेश करना ही होगा, ऐसा विधायक द्वारा बताने के बाद शिंदे ने पार्टी प्रवेश का निर्णय लेने की जानकारी है। ऐसे में एसआईटी के बहाने दबावतंत्र काम आया और भाजपा को सत्ता की चाबी मिलना आसान हो गया, ऐसा जानकारों का मानना है। अब एसआईटी महज एक दिखावा न बने, ऐसी उम्मीद भी जानकार जता रहे हैं।
Created On :   17 July 2025 4:49 PM IST