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Nagpur News: 5 साल में नाग, पीली और पोहरा नदी पर फूंके 5.66 करोड़ , बदल नहीं पाए सूरत

- 14.50 करोड़ का था प्रावधान
- कुछ नालों की अभी तक सफाई नहीं हुई
- बारिश में फिर हालात बिगड़ने का खतरा
Nagpur News शहर की नाग नदी, पीली नदी और पोहरा नदी, हर साल कहर बन रही है। नदियों में कचरा जमा होने और जगह-जगह प्रवाह प्रभावित होने से पानी बस्तियों में घुस रहा है। हर साल शहरवासियों को बाढ़ जैसे हालातों का सामना करना पड़ रहा है। आरोप लगते रहे हैं कि, मनपा इन नदियों की साफ-सफाई ठीक से नहीं कर रही है। लापरवाही का खामियाजा शहरवासियों को भुगतान पड़ रहा है। खुलासा हुआ है कि, मनपा ने इन नदियों की सफाई पर करोड़ों रुपए फूंक डाले। पिछले पांच साल में साफ-सफाई पर 5 करोड़ 66 लाख रुपए खर्च किए। बावजूद नदियों की सूरत नहीं बदली है।
नालों की हालत खराब : सूचना में शहर के छोटे नालों की हालात खराब बतायी गई। नागपुर में कुछ नालों की अभी तक सफाई नहीं हुई है। गांधीबाग जोन में अभी भी 8 नालों की सफाई नहीं हुई है। लकड़गंज जोन में 3 नाले अभी भी अधूरे हैं। धरमपेठ जोन में नाला सफाई के आंकड़े नहीं दिए, लेकिन 20-22 नालों की सफाई को लेकर रोजाना शिकायतें प्राप्त होने का दावा किया गया है। मंगलवारी जोन में 35 नालों की सफाई का दावा किया गया है, लेकिन 15 नालों की सफाई को लेकर अभी भी शिकायतें हैं। लक्ष्मी नगर जोन ने 18 नालों के सफाई की जानकारी देते दावा किया कि उनके पास कोई शिकायत नहीं है।
नियमित सफाई, फिर भी ये हाल : दावा है कि, नाग नदी मनपा की सूची में हर साल प्राथमिकता में रहती है, लेकिन इसके निरीक्षण में जगह-जगह कचरा जमा देखा जा सकता है। कई जगह मिट्टी डालकर इसके प्रवाह को रोकने का भी कार्य किया गया है। चूंकि, नाग नदी पर सबका ध्यान रहता है, इसलिए इसकी सफाई नियमित होती है, फिर भी ये हाल है। पीली और पोहरा नदी हर बार उपेक्षित रहती है। फिलहाल, आधिकारिक रूप से मनपा ने इन तीनों नदियों की सफाई पर 5.66 करोड़ खर्च करने का दावा किया है।
आरटीआई एक्टिविस्ट अभय कोलारकर ने सूचना अधिकार कानून अंतर्गत मनपा से नदियों की सफाई पर जानकारी हासिल की। इसका जवाब देते हुए मनपा ने बताया कि, 2020-21 से 2024-25 तक नाग नदी, पीली नदी और पोहरा नदी की साफ-सफाई के लिए 14 करोड़ 50 लाख रुपए का प्रावधान किया गया है। इसमें 5.66 करोड़ रुपए सफाई पर खर्च किए गए हैं। कुल 8.83 करोड़ रुपए बचाने का दावा किया गया है। नाला व नदी सफाई के लिए जिन कंपनियों से पोकलेन व अन्य मशीन किराए पर ली गई है, उन्हें 2023 तक 31.80 लाख का भुगतान किया गया है। 2024 में कोई भी मशीन या पोकलेन किराए पर नहीं लेने का दावा किया गया है। 2025 में मनपा के मालकी की मशीन का उपयोग करने का दावा किया गया है।
Created On :   28 May 2025 6:01 PM IST